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Shani Jayanti 2022: इस बार शनि जयंती पर करें ये 7 उपाय, शनि दोष, साढ़ेसाती और ढैय्या से मिलेगा छुटकारा

By रुस्तम राणा | Published: May 26, 2022 2:21 PM

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शनि जयंती के दिन कुछ विशेष उपाय करने से जातकों की कुंडली में शनि दोष, साढ़ेसाती और शनि ढैय्या के बुरे प्रभाव से छुटकारा मिलता है।

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Shani Jayanti 2022: शनि जयंती प्रति वर्ष ज्येष्ठ अमावस्या के दिन मनाई जाती है। धार्मिक मान्यता है कि इसी दिन न्याय के देवता शनिदेव का जन्म हुआ था। शनि जयंती के दिन शनि मंदिरों में उनके भक्तों की भारी भीड़ देखने को मिलती है। इस दिन शनि दोष से छुटकारा और उनका आशीर्वाद पाने के लिए भक्तों के द्वारा व्रत रखा जाता है। पवित्र नदी में स्नान किया जाता है और दान-पुण्य के कार्य किए जाते हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शनि जयंती के दिन कुछ विशेष उपाय करने से जातकों की कुंडली में शनि दोष, साढ़ेसाती और शनि ढैय्या के बुरे प्रभाव से छुटकारा मिलता है। ये उपाय इस प्रकार हैं- 

1. शनि जयंती पर शनि देव की कृपा पाने के लिए शनि देव की पूजा उनके प्रिय नीले रंग के फूल, शमी के पत्ते, काला तिल, सरसों के तेल आदि से करें। इसके बाद शनि महाराज से ग्रह दोष, साढ़ेसाती और ढैय्या की पीड़ा से राहत प्रदान करने की प्रार्थना करें।

2. शनि जयंती के दिन सबसे पहले पास के किसी शनि मंदिर में जाएं और वहां शनि देव की पूजा करें। किसी पात्र में सरसों का तेल भरें और उसमें अपनी छाया देखकर उसे दान कर दें। छाया दान करने से साढ़ेसाती और ढैय्या का प्रभाव कम होता है, कष्ट और दुख दूर होते हैं।

3. शनि दोष से मुक्ति पाने के लिए शनि जयंती के दिन शनि देव को सरसों का तेल अर्पित करें या उससे उनका ​अभिषेक करें। इस उपाय से आपकी कुंडली में शनि की स्थिति मजबूत होगी। 

4. शनि जयंती के दिन कर्मफलदाता शनि महाराज को प्रसन्न करने के लिए सरसों के तेल में काला तिल डालकर शनि देव को अर्पित करना करें। इस उपाय से आपको शनिदोष से जुड़े कष्ट दूर हो जाएंगे और जीवन में सुख-समृद्धि आएगी। 

5. शनि जयंती के अवसर पर शाम को शमी के पेड़ या फिर पीपल के नीचे तिल के तेल का दीपक जलाएं. शनि कृपा से साढ़ेसाती, ढैय्या और ग्रह दोष में शांति मिलेगी.

6. शनि जयंती पर शनि देव से जुड़ी चीजों का दान करना चाहिए। इस दिन आप जूता या चप्पल, काला या नीला कपड़ा, उड़द, काला तिल, लोहा, स्टील और शनि चालीसा का दान किसी गरीब जरूरतमंद व्यक्ति को दान करना चाहिए। 

7. शनि दोष, साढ़ेसाती या ढैय्या की पीड़ा से राहत पाने के लिए शनि बीज मंत्र ॐ प्रां प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः का जाप करें।

टॅग्स :शनि जयंतीशनि देव
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