2014 के चुनाव में विशाल बहुमत के साथ सत्ता में आने वाली भाजपा क्या 2019 में इसकी पुनरावृत्ति कर सकेगी? उसका मुकाबला करने के लिए कांग्रेस को अन्य छोटे-बड़े दलों के साथ मिलकर चुनाव में उतरने की जरूरत है. वर्तमान में वह चुनाव में अकेले टक्कर देने की स्थ
...
अनुभव से मायावती और अखिलेश यादव ने सीखा कि यदि वे पहले की तरह ही एक-दूसरे के कट्टर दुश्मन बने रहेंगे तो कभी सत्ता में नहीं आ सकेंगे. इसीलिए उन्होंने परिस्थितियों से समझौता कर लिया.
...
भारत वर्तमान में युवाओं का देश है. किसी भी अन्य देश की जनसंख्या में इस समय युवाओं का उतना ज्यादा प्रतिशत नहीं है जितना हमारे देश में है. आईटी क्षेत्र में हमारे युवाओं ने दुनिया भर में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है.
...
सदुपयोग के संदर्भ में कहा जा सकता है कि पैसा जितना ज्यादा खर्च किया जाता है, उससे हासिल की जाने वाली चीजें उतनी ही अमूर्त होती हैं. परोपकार एक ऐसा तरीका है जिसमें व्यय किए जाने वाले धन में अपने आप में बेहतर महसूस कराने की पूर्ण अमूर्त क्षमता है- उन ल
...
मोदी लहर नहीं तो फिर राम लहर ही सही, लेकिन मौजूदा वक्त की राजनीति में जब सारा खेल परसेप्शन का ही है तो भाजपा को जल्द से जल्द इस लहर को तैयार कर लेना चाहिए.
...
कर्नाटक और मध्यप्रदेश, इन दोनों प्रांतों की सरकारों को गिराने की कोशिशों की खबरें गर्म हैं. दोनों प्रदेशों में भाजपा विपक्ष में है. भाजपा इन दोनों प्रदेशों में सत्तारूढ़ होते-होते रह गई. मप्र में तो उसे वोट भी कांग्रेस से ज्यादा मिले लेकिन सीटें कम र
...
अदालत के फैसलों की आलोचना के अधिकार का उपयोग होता रहा. लेकिन हाल के महीनों में सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश, न्यायाधीश पर व्यक्तिगत हितों, राजनीतिक पूर्वाग्रह तक के गैरजिम्मेदाराना अनर्गल आरोप लगाए जाने लगे हैं.
...
बात उन दिनों की है जब तत्कालीन प्रधानमंत्नी विश्वनाथ प्रताप सिंह ने मंडल आयोग की सिफारिशों को लागू करने की घोषणा करके देश की राजनीति और सामाजिक अंचलों में भूचाल-सा ला दिया था. बहुत बहस हुई थी तब देश में आरक्षण के सवाल पर और इस निर्णय के नफे नुकसान भी
...
अमेरिका के विशेष प्रतिनिधि जलमय खलीलजाद ने दिल्ली पहुंच कर भारत सरकार के प्रतिनिधियों से विस्तृत वार्ता की और तालिबान को लेकर बढ़ती आशंकाओं का निराकरण भी किया. अमेरिकी प्रतिनिधि ने अपने बयान में दृढ़ता के साथ कहा कि अफगानिस्तान में शांति का कोई भी प्
...
विधि आयोग ने अंग्रेजों द्वारा बनाई गई इस धारा को अप्रासंगिक बताया है और उसने इसे सुधारने का सुझाव भी दिया है. हमारी सरकारें किसी पर भी देशद्रोह का बिल्ला चिपका देती हैं और फिर अदालत में मुंह की खाती हैं.
...