भारत में कोरोना के खिलाफ टीकाकरण में दो टीकों में एक कोविशील्ड भी है। कोविशील्ड को ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राज़ेनेका ने मिलकर बनाया है। भारत में इस टीके को पुणे स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा बनाया गया है। यह वैक्सीन आम सर्दी-जुकाम वाले वायरस के एक कमजोर रूप से बनी है। जब वैक्सीन लगती है तो वह इम्युन सिस्टम को किसी कोरोना वायरस संक्रमण से लड़ने के लिए तैयार करती है। यह वैक्सीन दो डोज में चार और 12 हफ्तों के अंतराल पर लगती है। इसे भी 2 डिग्री से 8 डिग्री के बीच स्टोर किया जा सकता है। Read More
केंद्र सरकार ने 13 मई 2021 को एनटीएजीआई की सिफारिशों के आधार पर कोविशील्ड टीके की पहली और दूसरी खुराक के बीच के अंतर को 6-8 सप्ताह से बढ़ाकर 12-16 सप्ताह कर दिया था। ...
पुणे नगर निगम ने एक रिपोर्ट जारी करते हुए बताया है कि नगरपालिका के अंडर में आने वाले कुल 22 निजी टीकाकरण केंद्रों और अलग-अलग अस्पतालों में पड़ी हुई कोविशील्ड वैक्सीन की 1.24 लाख डोज लगभग एक महीने के भीतर में अलग-अलग समय में एक्सपायर हो जाएंगी। ...
दिव्यांगजनों को टीकाकरण प्रमाणपत्र दिखाने से छूट देने के मामले पर केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि किसी भी व्यक्ति की मर्जी के बिना उसका टीकाकरण नहीं किया जा सकता। ...
CoWin पंजीकरण जहां शनिवार से शुरू होंगे, वहीं ऑनसाइट पंजीकरण टीकाकरण के दिन यानी 3 जनवरी से ही शुरू हो जाएगा।सरकार की गाइडलाइंस के मुताबिक बच्चे 1 जनवरी से अपने आईडी कार्ड का इस्तेमाल कर CoWin ऐप पर स्लॉट बुक कर सकते हैं। ...