महाकुंभ या कुंभ मेला हर 12 वर्षों में चार स्थानों - प्रयागराज, हरिद्वार, उज्जैन, नासिक पर आयोजित किया जाता है। पौराणिक कथा के अनुसार देवताओं और राक्षसों का युद्ध 12 दिनों तक चला था। स्वर्ग का एक दिन पृथ्वी के एक वर्ष के समान होता है। इसलिए महाकुंभ 12 वर्षों में चार बार किया जाता है।आदि शंकराचार्य द्वारा पहली इस महा उत्सव की शुरुआत की गई थी। उन्होंने ही चार मुख्य तीर्थों को कुंभ मेले के चार पीठ के रूप में स्थापित कराया था। कुंभ मेले के दौरान देश दुनिया से दूर दूर से श्रद्धालु आते हैं। सभी का एक ही मकसद होता है पवित्र स्नान में डुबकी लगाना। मान्यता है कि कुंभ मेले के दौरान पवित्र स्नान करने से पिछले और इस जन्म के सभी पाप धुल जाते हैं। Read More
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर बताया कि उन्होंने आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरि से बात कर कुंभ को अब प्रतीकात्मक रखने का अनुरोध किया है। ...
कोरोना संक्रमण का असर कुंभ मेले पर नजर आ रहा है। पिछले 5 दिनों में ही करीब 1700 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। वहीं निर्वाणी अखाड़ा के महामंडलेश्वर कपिल देव दास की महामारी से मौत हो गई। ...
मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि कुंभ मेले में तृतीय शाही स्नान के दौरान साधु-संतों और श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े, इसके लिए राज्य सरकार ने चाक-चौबंद व्यवस्था की है। ...
अयोध्या स्थित महा निर्वाणी अखाड़ा के प्रमुख महंत धर्मदास समेत 3 बड़े संतों ने शेष तीन शुभ दिनों- 9, 13 और 25 मार्च को नदी में "शाही स्नान" के बहिष्कार करने की घोषणा की है। ...
Haridwar Kumbh Mela 2021: कुंभ मेला और कुंभ स्नान का हिंदू मान्यताओं में विशेष महत्व है। हर 12 साल में होने वाले महाकुंभ में हजारों की संख्या में श्रद्धालु शामिल होते हैं। ऐसे में अगर आप भी यहां जा रहे हैं तो कुछ नियम जरूर जान लें। ...