एड्स यानी एक्वायर्ड इम्युनोडेफिशिएंसी सिन्ड्रोम एक बीमारी है जो ह्यूमन इम्युनोडेफिशिएंसी वायरस या एचआईवी (HIV) के कारण होती है. यह वायरस धीरे-धीरे व्यक्ति की संक्रमण से लड़ने की क्षमता कम कर देता है. जब शरीर की प्रतिरोधक क्षमता इतनी कम हो जाती है कि वह संक्रमण का विरोध नहीं कर पाता, तो कहा जाता है कि व्यक्ति को एड्स हो गया है. एचआईवी संक्रमण को एड्स तक पहुंचे में 8 से 9 साल लग जाते हैं. Read More
आपको बता दें कि सफल क्लिनिकल परीक्षण के बाद, लंबे समय तक काम करने वाला कैबोटेग्रेविर एचआईवी को रोकने में लगभग 100 प्रतिशत प्रभावी पाया गया है। ऐसे में यह कहा जा रहा है कि असुरक्षित यौन संबंधों से फैलने वाले एचआईवी संक्रमण को रोकने के लिए पात्र व्यक्त ...
वाराणसी में दर्जन भर लोग एचआईवी से संक्रमित पाए गए हैं। चौंकाने वाली बात यह है कि इनमें से किसी में भी एचआईवी संक्रमण अक्षुरक्षित यौन संबंध या संक्रमित खून की वजह से नहीं फैला। सभी मरीजों में संक्रमण टैटू बनाने में प्रयोग की जानो वाली सूई की वजह फैला ...
इजरायल की तेल अवीव यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं के मुताबिक, उन लोगों ने एक ऐसा वैक्सीन तैयार किया है जिसके केवल एक ही खुराक से HIV वायरस को खत्म किया जा सकता है। ...