Bihar LS polls 2024: लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में एनडीए के नेता लगातार लालू-राबड़ी के शासनकाल को लेकर सवाल उठा रहे हैं। एनडीए के नेता लालू-राबडी के 15 सालों के शासनकाल की तुलना जंगलराज से कर रहे हैं। जदयू के मुख्य प्रवक्ता व विधान पार्षद नीरज कुमर ने एक बार फिर लालू -राबड़ी शासनकाल पर सवाल उठाते हुए राजद पर संगीन आरोप लगाए हैं। उन्होंने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव से सवाल किया है कि वह इन दिनों रोजगार और मुद्दे की बात कर रहे हैं तो पहले उन्हें यह बताना चाहिए कि बिहार में जो 118 नरसंहार हुए, उसके लिए जिम्मेदार कौन है।
पहले उसका जवाब तेजस्वी यादव दें। उनको अपने मां- बाप के शासनकाल का हिसाब देना चाहिए। जवाब और हिसाब के बीच राजनीति की दो पीढियां सामने आई हैं तो इसका गुनाहगार कौन था? इसमें दलित, शोषित और सामान्य वर्ग के लोगों का कत्ले आम मच गया था। कौन है इसका जिम्मेदार? इसका जवाब कौन देगा कि इसके आरोपियों को संरक्षण देने का काम किसने किया था।
दर,असल तेजस्वी यादव ने सोशल मीडिया पर केंद्र सरकार की मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए लिखा, "बिहार ने मोदी जी को 40 में से 39 सांसद दिए। केंद्र में 10 साल से भाजपा सरकार, 17 साल से बिहार में सरकार, केंद्र में मंत्री. दिल्ली में इनका शासन, पटना में इनका शासन प्रशासन। सीबीआई, ईडी, आईटी और मीडिया का एक वर्ग इनके साथ।
फिर बिहार के युवाओं को नौकरी देने, विशेष राज्य का दर्जा देने, विशेष पैकेज देने, बिहार में इंडस्ट्री लगाने के लिए और क्या चाहिए?" उन्होंने आगे कहा कि इतने सांसद और डबल इंजन सरकार के बावजूद भी आप बिहार को कुछ ना देकर उलटा बिहारियों को ही भला-बुरा कहने बिहार आते है तो अबकी बार बिहारी आपको कड़ा सबक सिखायेंगे।
इधर, भाजपा के प्रवक्ता कुंतल कृष्ण ने भी तेजस्वी और रोहिणी को निशाने पर लेते हुए कहा कि उन्हें बिहार की अगली पीढ़ी को यह भी बताना चाहिए कि उनके माता-पिता के 15 वर्ष के राजकाज में 118 नरसंहार हुए थे बिहार में। जिसका नाम लालू राज-राबड़ी राज था। वही राज था माफिया राज, गुंडाराज, नरसंहारों का राज और उसी राज के राजकुमार और राजकुमारी हैं ये दोनों।