भारत में जब किसी विपक्षी दल को लगता है कि मौजूदा सरकार सदन का विश्वास या बहुमत खो चुकी है तो वह अविश्वास प्रस्ताव पेश करता है। इसके लिए वह सबसे पहले लोकसभा अध्यक्ष या स्पीकर को इसकी लिखित में सूचना देता है। इसके बाद स्पीकर उसी दल के किसी सांसद से इसे पेश करने के लिए कहता है। अविश्वास प्रस्ताव को तभी स्वीकार किया जा सकता है, जब सदन में उसे कम से कम 50 सदस्यों का समर्थन हासिल हो। Read More
लोकसभा में विपक्षी पार्टी टीडीपी द्वारा लाया गया अविश्वास प्रस्ताव शुक्रवार( 20 जुलाई) को वोटिंग के बाद गिर गया। अविश्वास प्रस्ताव के विरोध में 325 वोट पड़े जबकि इसके पक्ष में सिर्फ 126 वोट ही पड़े। ...
अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग के बाद लोकसभा की कार्रवाई सोमवार( 23 जुलाई) तक के लिए स्थगित कर दी गई। बता दें कि यह प्रस्ताव आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के मांग को लेकर टीडीपी लेकर आई थी। ...
संसद का मॉनसून सत्र 18 जुलाई को शुरू हुआ और 10 अगस्त तक चलेगा। नरेंद्र मोदी सरकार केंद्र में अपने चार साल पूरी कर चुकी है। 16वीं लोक सभा का यह आखिरी मॉनसून सत्र होगा। ...
राहुल गांधी ने संसद में कहा, 'मैं फ्रांस के राष्ट्रपति से स्वयं मिला था। उन्होंने मुझे बताया कि राफेल विमान सौदे को लेकर भारत और फ्रांस की सरकार के बीच गोपनीयता का कोई समझौता नहीं हुआ है।' ...