यूक्रेन सोवियत संघ के विघटन के बाद 1991 में रूस से अलग हुआ था। यूक्रेन के हालांकि बाद के वर्षों में NATO से जुड़ने की कोशिश से रूस असहमति दिखाता रहा है। रूस को लगता है कि यूक्रेन NATO से जुड़ने से उसकी सुरक्षा हमेशा खतरे में रहगी। रूस का मानना है कि अमेरिका सहित नाटो के अन्य सदस्य देशों की सेनाएं उसकी सीमा के बेहद करीब आ जाएंगी और वह एक तरह से चारों ओर से घिर जाएगा। इसी के खिलाफ रूस कदम उठाने की बात कर रहा है और यूक्रेन पर कार्रवाई की बात कर रहा है।