ज्योतिरादित्य माधवराव सिंधिया भारतीय राजनेता हैं। मोदी सरकार में नागर विमानन मंत्री हैं। इससे पहले वह 18 सालों तक में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के नेता थे। ज्योतिरादित्य सिंधिया 15वीं लोकसभा के मंत्रिमंडल में वाणिज्य और उद्योग राज्यमंत्री भी रहे थे। उनका जन्म 1 जनवरी 1971 को हुआ था। इनका संबंध सिंधिया राजघराने से है। इनके पिता स्व. माधवराव सिंधिया भी गुना से कांग्रेस के विजयी उम्मीदवार रहे हैं। Read More
मुंबई के बेहद चर्चित समुद्र महल सोसाइटी का नीरव मोदी, राणा कपूर और ज्योतिरादित्य सिंधिया जैसे लोगों से काफी गहरा जुड़ाव रहा है। यही वजह है कि पिछले कुछ दिनों से यह घर काफी चर्चा में रहा है। भ्रष्टाचार की खबरों में रहने वाले नीरव मोदी के बाद यस बैंक क ...
पटवारी ने लिखा कि सिंधिया, आप तो गिरगिट के भी बाप निकले. किसानों को गोली मारने वालों के साथ और किसानों पर भाजपा सरकार द्वारा दर्ज केस को वापस लेने वालों के खिलाफ. ...
मध्य प्रदेश कांग्रेस के ट्वीटर पर सिंधिया से पूछा गया है कि उन्होेंने अभी भी मोदी-शाह (प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केन्द्रीय मंत्री अमित शाह) की जोड़ी की शरण में क्यों जाना चुना ? ...
मुख्यमंत्री कमलनाथ आज राजधानी भोपाल में एक संवाददाता सम्मेलन कर ज्योतिरादित्य सिंधिया के द्वारा उन पर लगाए गए भ्रष्टाचार के तमाम आरोपों का जवाब देंगे. इसके लिए बुधवार को दिनभर मंत्रालय में दस्तावेजों की तलाश भी की जाती रही. ...
मंगलवार सुबह कांग्रेस छोड़ने के बाद सिंधिया बुधवार दोपहर को दिल्ली में भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा की मौजूदगी में भाजपा में शामिल हो गए। इसके तुरंत बाद मध्यप्रदेश सरकार ने बुधवार को पांच जिलों गुना, ग्वालियर, नीमच , विदिशा और हरदा जिले के कलेक्टरों का त ...
इंदौर की शहर कांग्रेस समिति के कार्यालय "गांधी भवन" के सामने पार्टी कार्यकर्ताओं ने सिंधिया के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए अपने पूर्व नेता की तस्वीर वाले बैनर के साथ प्रदर्शन किया। ...
रुपाणी ने ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में शामिल होने के निर्णय का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि यह तो होना ही था क्योंकि कांग्रेस नेतृत्वविहीन हो चुकी है और वहां वंशवाद की व्यवस्था है। रुपाणी ने यहां संवाददाताओं से कहा, “न केवल मध्य प्रदेश बल्कि प् ...
पूनियां ने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत ने छह महीने पहले बसपा के विधायकों को खरीद-फरोख्त के जरिए ही कांग्रेस में शामिल किया था, जब उनकी शर्म कहां थी। यह पहला वाकया नहीं है। इससे पहले भी गहलोत ऐसा कर चुके हैं। ...