हर साल 22 अप्रैल को पूरी दुनिया को अर्थ डे (पृथ्वी दिवस) के तौर पर मनाया जाता है। इस दिवस को मनाने के पीछे का कारण पर्यावरण को लेकर आम लोगों में जागरूकता पैदा करना है। Read More
यदि ग्रीन हाउस गैसों की वृद्धि इसी तरह जारी रही तो दुनिया को लू, सूखे, बाढ़ व समुद्री तूफान जैसी प्राकृतिक आपदाओं का सामना करना पड़ेगा. कुपोषण, पेचिश, दिल की बीमारियां एवं श्वसन संबंधी रोगों में इजाफा होगा. ...
माता का स्वभाव है कि वह स्वयं कष्ट सहकर भी अपना सारा प्रेम शिशुओं के ऊपर उड़ेलती रहती है क्योंकि वह अपनी संततियों को अपने अस्तित्व से अलग नहीं रखती. ...
प्रकृति और मनुष्य के बीच संघर्ष का परिणाम पर्यावरण संकट के रूप में आ रहा है. हवा, पानी और भोजन जैसे जीवन जीने के लिए अनिवार्य तत्व घोर प्रदूषण की गिरफ्त में आ रहे हैं. ...
पृथ्वी दिवस वर्तमान में नवीकरणीय ऊर्जा और ग्लोबल वार्मिंग के बारे में जागरूकता बढ़ाता है। मगर इसका अपना एक इतिहास है जिसके बारे में शायद ही आप जानते होंगे। ...
पूरी दुनिया में 22 अप्रैल को 'अर्थ डे' के तौर पर मनाया जाता है। पृथ्वी को आने वाली पीढ़ियों के लिए कैसे बचाया जाए और इसके संसाधनों को कैसे भविष्य के लिए बचाया जा सके, ये इसी मसले पर बात करने का दिन है। ...