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पूर्व मंत्री और दलित नेता छेदी राम अपने पुत्र राकेश राम के साथ कांग्रेस में शामिल, नीरज कुमार सिंह, संजीव कुमार, राम प्यारे प्रसाद नट भी हाथ के साथ

By एस पी सिन्हा | Updated: August 13, 2025 15:23 IST

Bihar Assembly Elections: छेदी राम जैसे दलित नेता का कांग्रेस में आना, खासकर बक्सर और आसपास के क्षेत्रों में, पार्टी के लिए एक बड़ा लाभ हो सकता है।

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ठळक मुद्देकांग्रेस की ग्रामीण और सुरक्षा पृष्ठभूमि वाले मतदाताओं तक पहुंच बनाने में मदद करेगा।राजेश राम और पार्टी प्रभारी कृष्णा अल्लावारू ने सभी नेताओं का स्वागत किया।सही मायनों में दलितों और वंचितों के हक के लिए सोचती है।

पटनाः बिहार विधानसभा चुनाव को देखते हुए कांग्रेस पार्टी में लगातार नए चेहरे शामिल हो रहे हैं। इसी कड़ी में पटना के सदाकत आश्रम में आयोजित एक मिलन समारोह में बिहार के पूर्व मंत्री और बक्सर के प्रभावशाली दलित नेता छेदी राम अपने पुत्र राकेश राम के साथ कांग्रेस में शामिल हो गए। इस मौके पर सीआरपीएफ के पूर्व अधिकारी एवं समाजसेवी नीरज कुमार सिंह, संजीव कुमार, राम प्यारे प्रसाद नट और सुनील राम ने भी अपने समर्थकों के साथ कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण की। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजेश राम और पार्टी प्रभारी कृष्णा अल्लावारू ने सभी नेताओं का स्वागत किया।

कांग्रेस में शामिल होने के बाद छेदी राम ने कहा कि यही पार्टी सही मायनों में दलितों और वंचितों के हक के लिए सोचती है। उनके बक्सर और आसपास के क्षेत्रों में दलित मतदाताओं के बीच गहरी पकड़ है, जो कांग्रेस के लिए चुनावी दृष्टि से अहम हो सकती है। वहीं, राजेश राम ने कहा कि छेदी राम वरिष्ठ राजनेता हैं, इनके अनुभव और जनाधार का लाभ पार्टी को अवश्य मिलेगा।

समाज के सभी वर्गों ने सभी राजनीतिक दलों को मौका देकर देख लिया है, अब उन्हें भरोसा हो गया है कि कांग्रेस ही सत्ता में सभी वर्गों को उचित हिस्सेदारी देती है। नए शामिल हुए नेताओं ने कहा कि देश और राज्य के उज्जवल भविष्य के लिए कांग्रेस ही एकमात्र विकल्प है।

उनका मानना है कि सभी वर्गों और समुदायों को साथ लेकर चलने में कांग्रेस सक्षम है। उल्लेखनीय है कि कांग्रेस में नेताओं के जुड़ने की घटनाएं चुनावी रणनीतियों को सीधा प्रभावित कर सकती हैं। कांग्रेस लगातार बड़े नेताओं और प्रभावशाली चेहरों को जोड़कर अपने जनाधार को बढ़ाने की कोशिश कर रही है।

छेदी राम जैसे दलित नेता का कांग्रेस में आना, खासकर बक्सर और आसपास के क्षेत्रों में, पार्टी के लिए एक बड़ा लाभ हो सकता है। वहीं,सीआरपीएफ के पूर्व अधिकारी और अन्य नेताओं का जुड़ना कांग्रेस की ग्रामीण और सुरक्षा पृष्ठभूमि वाले मतदाताओं तक पहुंच बनाने में मदद करेगा।

टॅग्स :बिहार विधानसभा चुनाव 2025सासारामबक्सरबिहार
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