चीन ने भारत की सुरक्षा में किया 'सुराख़'अरुणाचल में बसा दिया गांव चीन (China) भारत (India) के सुरक्षाघेरे को तोड़ने से बाज नहीं आ रहा है। चीन ने अब अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) के जरिये भारत में घुसने का प्रयास किया। भूटान (Bhutan) के बाद चीन ने भारत के अरुणाचल प्रदेश की सीमा के अंदर गांव बसा लिया है। इस गांव में करीब 101 नए घर भी बनाए गए हैं। यह गांव अरुणाचल प्रदेश में वास्तविक भारतीय सीमा के करीब 4.5 किमी अंदर स्थित है। इस गांव को त्सारी चू गांव के अंदर बसाया गया है। यह गांव अरुणाचल प्रदेश के ऊपरी सुबनसिरी जिले में स्थित है। चीन का यह गांव भारत की सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा साबित हो सकता है। चीन की इस चाल पर भाजपा के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यन स्वामी (Subramanian Swamy) ने कहा है कि वह रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) से बात करेंगे।टीवी चैनल एनडीटीवी की खबर के मुताबिक ऊपरी सुबनसिरी जिला भारत और चीन के बीच लंबे समय से विवाद का केंद्र रहा है और इसको लेकर सशस्त्र संघर्ष भी हो चुका है। रिपोर्ट में सैटलाइट से ली गई तस्वीरों को विशेषज्ञों को दिखाया गया। विशेषज्ञों ने चीनी गांव की पुष्टि की है। चीन ने इस गांव का ऐसे समय पर निर्माण किया है जब पश्चिम सेक्टर में लद्दाख में भारत और चीन की सेनाएं आमने-सामने हैं।यह सैटलाइट इमेज एक नवंबर 2020 की है जिसमें गांव नजर आ रहा है। इससे एक साल पहले ली गई तस्वीर में यह गांव नजर नहीं आ रहा है। तस्वीरों से तय है कि एक साल के अंदर ही चीन ने भारत की सीमा में घुस कर पूरा गांव बसा दिया है। इससे पहले अक्टूबर में चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा था कि कुछ समय से भारतीय पक्ष अपने आधारभूत ढांचे का सीमा पर विकास कर रहा है और सेना की तैनाती कर रहा है जो विवाद का मुख्य विषय है।हालांकि तस्वीरों से साफ नजर आ रहा है कि चीनी गांव के पास भारत की कोई रोड नहीं है और न ही कोई आधारभूत ढांचा है। इससे पहले नवंबर 2020 में भाजपा के अरुणाचल प्रदेश के सांसद तापिर गावो ने लोकसभा को चेतावनी दी थी कि उनके राज्य में चीन की घुसपैठ बढ़ रही है। उन्होंने ऊपरी सुबनसिरी जिले के बारे में जोर देकर कहा था। गावो ने अब एनडीटीवी से बातचीत में कहा कि चीन का निर्माण अभी जारी है। अगर आप नदी के रास्ते को देखेंग तो चीन सुबनसिरी जिले में सीमा के भीतर 60 से 70 किमी अंदर घुस आया है।अरुणाचल प्रदेश में चीनी निर्माण के दावे पर भारतीय विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि भारत की नजर सभी घटनाक्रम पर है। विदेश मंत्रालय ने उन रिपोर्ट्स के जवाब में कहा कि भारत की सुरक्षा पर असर डालने वाले सभी घटनाक्रमों पर हमारी नजर है। भारत ने भी सीमा पर अपनी ताकत को बढ़ाया है और सड़कों और पुलों का निर्माण किया है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि हमने सीमावर्ती क्षेत्रों में चीन के निर्माण कार्य की रिपोर्ट देखी है। चीन पिछले कई सालों से इस तरह के निर्माण गतिविधियां कर रहा है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि चीन की हर हरकत पर हमारी पैनी नजर है। इसके जवाब में हमने भी सड़कों और पुलों का निर्माण किया है। सीमावर्ती इलाकों में बुनियादी ढांचे को आगे बढ़ाया है। इससे स्थानीय लोगों को भी काफी फायदा हुआ है।इस मसले पर भाजपा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी ने कहा है कि वह रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से बातचीत करेंगे। स्वामी ने ट्वीट करके कहा, 'लद्दाख और अरुणाचल में हमारे क्षेत्र में चीन के कब्जे को स्वीकार नहीं करना एक बड़ी भूल है। इन दोनों राज्यों से चुने गए भाजपा के सांसदों द्वारा सार्वजनिक रूप से इसकी पुष्टि की गई है। जब भी मौका आएगा मैं राजनाथ सिंह से पूछूंगा। विदेश मंत्रालय केवल इतना कहेगा कि हम तनाव घटाने के लिए वार्ता कर रहे हैं। इसका क्या मतलब है?'