नवरात्रि यानी 'नौ-रात'। हिन्दू धर्म में ये त्योहार वर्ष में चार बार आता है-चैत्र, आषाढ़, आश्विन और माघ। चैत्र में चैत्र नवरात्रि और अश्विन में इस पर्व को शारदीय नवरात्रि के नाम से जाना जाता है। इन दो नवरात्रि से ठीक पहले गुप्त नवरात्रि आते हैं, जिन्हें गुप्त एवं तांत्रिक साधनाओं के लिए जाना जाता है। लेकिन हिन्दू परिवारों में चैत्र और शारदीय नवरात्रि का महत्व है और इसे ही विशेष रूप से मनाया जाता है। Read More
शास्त्रों के अनुसार मां ब्रह्मचारिणी को श्वेत रंग बेहद प्रिय है। माता की पूजा के दौरान सफेद रंग के वस्त्र पहनना शुभ माना जाता है। मां को सफेद वस्तुएं जैसे शक्कर, मिश्री या पंचामृत का भोग लगाएं। मां ब्रह्मचारिणी का आशीर्वाद पाने के लिए दुर्गा सप्तशती ...
नवरात्रि के नौं दिनों तक मां के 9 स्वरूपों शैलपुत्री माता, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कूष्माण्डा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और मां सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है. नवरात्रि में मां दुर्गा के स्वरुपों की पूजा अर्चना करने से भक्तों के सभी ...
नवरात्रि का पहला दिन मंगलवार को है. इस दिन सूर्योदय सुबह 5 बजकर 58 मिनट पर होगा. घट स्थापना का शुभ मुहूर्त इसी समय से शुरू हो जाएगा जो 10 बजकर 14 मिनट तक रहेगा. नवरात्रि के पहले दिन माता शैलपुत्री की पूजा की जाती है. ...
नवरात्रि में मां दुर्गा की विधि-विधान के साथ पूजा की जाती है और उनसे जीवन में सुख समृद्धि और शांति की प्रार्थना की जाती है. मां प्रसन्न होकर अपने भक्तों पर अपनी कृपा बनाए रखती हैं ...
Chaitra Navratri 2021: पंचांग के अनुसार चैत्र के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से चैत्र नवरात्रि की शुरुआत होती है। इस बार इसकी शुरुआत 13 अप्रैल से हो रही है। ...