उत्तर प्रदेश में स्थित प्रयागराज भारत के प्राचीन शहरों में से एक है। हिंदू धर्म के मुताबिक प्रयागराज एक तीर्थ स्थल है। प्रयागराज से पहले इसका नाम इलाहाबाद था। ऐतिहासिक उल्लेख की बात करें तो इस शहर का इलाहाबाद नाम अकबर ने 1583 में दिया था। साल 2018 में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इलाहाबाद का नाम प्रयागराज करने का ऐलान कर दिया है।दरअसल, गोमुख से इलाहाबाद तक जहां कहीं भी कोई सहायक नदी गंगा से मिलती है उस स्थान को प्रयाग कहा गया है, जैसे- देवप्रयाग, कर्णप्रयाग, रुद्रप्रयाग आदि। इस तरह जहां गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती का संगम है उसे प्रयागराज कहा जाएगा। इसे संगम नगरी, कुंभ नगरी और तीर्थराज भी कहा गया है। Read More
Mahakumbh 2025: भोज कार्यक्रम में जूना, निरंजनी, उदासीन बड़ा, निर्मल, तीनों वैष्णव अखाड़े (निर्मोही, दिगंबर, निर्वाणी), अग्नि, आवाहन, अटल एवं आनंद अखाड़े के संत शामिल रहे। ...
महाप्रसाद सेवा में इस्कॉन के सहयोग के बारे में बोलते हुए अडानी ने कहा, "कुंभ सेवा का एक पवित्र स्थान है, जहां हर भक्त भगवान की सेवा में शामिल होता है। यह मेरा सौभाग्य है कि हम इस्कॉन के सहयोग से महाकुंभ में भक्तों के लिए 'महाप्रसाद सेवा' शुरू कर रहे ...
महाकुंभ मेले की पूरी अवधि यानी 13 जनवरी से 26 फरवरी तक महाप्रसाद सेवा दी जाएगी। इस पहल के लिए इस्कॉन को धन्यवाद देने के लिए अडानी समूह के चेयरमैन गौतम अडानी ने गुरुवार को इस्कॉन गवर्निंग बॉडी कमीशन (जीबीसी) के चेयरमैन गुरु प्रसाद स्वामी से मुलाकात की ...
Mahakumbh Mela 2025: डिजिटल महाकुंभ दृष्टिकोण को आगे बढ़ाते हुए, भारतीय रेलवे ने आगंतुकों के लिए सुविधा सुनिश्चित करने के लिए एक टोल-फ्री हेल्पलाइन, एक समर्पित वेबसाइट और महाकुंभ मेला ऐप लॉन्च करके अपने डिजिटल प्रयासों को बढ़ावा दिया है। ...
Mahakumbh 2025: साक्षी बनने की लालसा में राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद और प्रधानमंत्री पं. जवाहरलाल नेहरू जैसे ही त्रिवेणी रोड से बांध के नीचे उतरते हुए मुगल बादशाह अकबर के बनवाए ऐतिहासिक किले की ओर बढ़े (जिसके बुर्ज में उनके आतिथ्य सत्कार की व्यवस्थ ...