Maha Kumbh 2025: प्रयागराज में 'रबड़ी बाबा' घोली मिठास, महाकुंभ मेले में आए भक्तों के लिए अपने हाथ से बना रहे रबड़ी
By अंजली चौहान | Updated: January 10, 2025 11:23 IST2025-01-10T11:22:31+5:302025-01-10T11:23:59+5:30
Maha Kumbh 2025: मुख्यमंत्री ने कहा कि अब तक 80 प्रतिशत टेंट की बुकिंग हो चुकी है।

Maha Kumbh 2025: प्रयागराज में 'रबड़ी बाबा' घोली मिठास, महाकुंभ मेले में आए भक्तों के लिए अपने हाथ से बना रहे रबड़ी
Maha Kumbh 2025:उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 13 जनवरी 2025 से महाकुंभ लगने जा रहा है। महाकुंभ मेले में पवित्र नदी में स्नान करने के लिए देश -विदेश से श्रद्धालु पहुंचेंगे। प्रयागराज में इस खास अवसर के लिए लगभग सारी तैयारियां हो चुकी है। हिंदू धर्म के खास उत्सव पर प्रयागराज में इस समय आकर्षण का केंद्र बने हैं रबड़ी वाले बाबा। जी हां बिल्कुल सही पढ़ा आपने, कुंभ मेले के शुरू होने से पहले प्रयागराज में रबड़ी वाले बाबा पहुंचे हुए हैं। जो अपने हाथ से बनी रबड़ी भक्तों को खिलाते हैं।
न्यूज रिपोर्ट से बात करते हुए बाबा ने कहा, "हजारों लोग इस रबड़ी का स्वाद ले रहे हैं...मुझे यह विचार 2019 में आया और लोगों के आशीर्वाद से मैं अखाड़े का श्री महंत बन गया...यह रबड़ी सबसे पहले कपिल मुनि और देवताओं को चढ़ाई जाती है और फिर लोगों में बांटी जाती है...यह केवल लोगों की सेवा के लिए है और कोई पब्लिसिटी स्टंट नहीं है।" रबड़ी वाले बाबा रबड़ी बनाकर बांटते हैं। जिसका स्वाद कोई भी भक्त उठा सकता है।
#WATCH | Prayagraj, UP | Rabri Wale Baba prepares and distributes Rabri at Mahakumbh 2025.
— ANI (@ANI) January 10, 2025
He says, "... Thousands of people are savouring this Rabri... I got this idea in 2019 and due to the blessings of people, I became Shri Mahant of the Akhara... This rabri is first offered… pic.twitter.com/eBugx4TG9g
इस बीच, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को यहां कहा कि महाकुम्भ का यह अवसर उत्तर प्रदेश की संभावनाओं के प्रदर्शन और ‘ब्रांडिंग’ का सर्वोत्तम समय है। महाकुम्भ मेला सेक्टर तीन स्थित भव्य ‘डिजिटल कुम्भ एक्सपीरियंस सेंटर’ का उद्घाटन करने के बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि 13 जनवरी से प्रारंभ होने जा रहे प्रयागराज महाकुम्भ में त्रिवेणी स्नान का पुण्य लाभ लेने के लिए पूरी दुनिया में अपूर्व उत्साह है और देश के भीतर न केवल उत्तर प्रदेश, बल्कि कई अन्य राज्यों की पूरी कैबिनेट संगम स्नान करने की तैयारी कर रही है।
उन्होंने कहा कि डिजिटल महाकुम्भ एक्सपीरिएंस सेंटर सही मायनों में महाकुम्भ की दिव्यता और भव्यता को डिजिटल रूप से प्रदर्शित करता है। मुख्यमंत्री ने डिजिटल एक्सपीरिएंस सेंटर में वीआर तकनीक के माध्यम से दिखाई जा रही समुद्र मंथन की गाथा की अनुभूति कर इसकी प्रशंसा की। साथ ही उन्होंने डिजिटल एक्सपीरियेंस सेंटर की अन्य सभी गैलरी का निरीक्षण भी किया और इसे नयी पीढ़ी को भारत की प्राचीनतम संस्कृति से परिचित करवाने का सबसे उपयुक्त केंद्र बताया।
#WATCH | Prayagraj, UP | Rabri Wale Baba prepares and distributes Rabri at Mahakumbh 2025. pic.twitter.com/QF6r4AYNm3
— ANI (@ANI) January 10, 2025
उन्होंने कहा, ‘‘हमारी भावी पीढ़ी जो महाकुम्भ में संगम स्नान के लिए आएगी, उसे डिजिटल महाकुम्भ एक्सपीरिएंस सेंटर पर जरूर आना चाहिए। इस सेंटर के माध्यम से भावी पीढ़ी को प्राचीनतम भारत की झलक देखने को मिलेगी। वह अपनी जड़ों को महसूस कर पाएंगे और सनातन धर्म के प्रति उनकी आस्था और प्रगाढ़ होगी। विदेशी पर्यटक भी भारत की संस्कृति और इसकी प्राचीनता को महसूस करेंगे।’’
महाकुम्भ मेला क्षेत्र के सेक्टर तीन में बना डिजिटल एक्सपीरिएंस सेंटर कृत्रिम मेधा (एआई) और ‘वर्चुअल रियलिटी’ (वीआर) के माध्यम से महाकुम्भ की पौराणिक कथाओं, समुद्र मंथन, प्रयाग महात्म्य और त्रिवेणी संगम को डिजिटल रूप से दिखाएगा। डिजिटल एक्सपीरियंस सेंटर 60 हजार वर्ग फुट के क्षेत्र में 12 जोन में बंटा हुआ है। इसमें एआई, वीआर, एआर, होलोग्राम और एलईडी डिस्प्ले के माध्यम से पौराणिक गाथाओं को दर्शाया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अब तक 80 प्रतिशत टेंट की बुकिंग हो चुकी है। हार्वर्ड, स्टैनफोर्ड, बिल एंड मिलिंडा गेट्स फाउंडेशन और आईआईटी जैसी संस्थाएं इस बार महाकुम्भ के विविध आयामों पर शोध-अध्ययन और दस्तावेज तैयार करने जा रही हैं। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक में प्रयागराज को आकर्षक स्वरूप देने वाले गंगा, यमुना और सरस्वती स्वागत द्वारों और नक्षत्र वाटिका सहित अनेक नवीन कार्यों का डिजिटल माध्यम से लोकार्पण भी किया। भाषा राजेंद्र सिम्मी सिम्मी