पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना पूर्वी एशिया का देश है जिसे चीन के नाम से जाना जाता है। दुनिया की सबसे बड़ी आबादी वाला देश में कम्युनिस्ट शासन लागू है। इसकी सीमाएं भारत-पाकिस्तान और नेपाल से लगती है। सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य चीन दुनिया का सबसे बड़ा निर्यातक देश भी है। अमेरिका के बाद दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाला देश है। Read More
पाकिस्तान में चीन की महत्वाकांक्षी योजना चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर (सीपीईसी) को लेकर भारी असंतोष पनप रहा है. यह परियोजना पाकिस्तान के अलगाववादियों के निशाने पर आ गई है. योजना को निशाना बनाते हुए पिछले सप्ताह ही कई आत्मघाती हमले हो चुके हैं. ...
अमेरिका में चीन के लिए जासूसी करने के जुर्म में 'सेंट्रल इंटेलिजेंस एजेंसी' (सीआईए) के एक पूर्व अधिकारी को शुक्रवार को 20 साल की सजा सुनाई गई. पूर्व अधिकारी केविन मैलोरी को अमेरिकी रक्षा से संबंधित गुप्त सूचना को चीन के खुफिया एजेंट को 25,000 डॉलर मे ...
चीन में पैदा हुये पई को पेरिस में बनाए लूव्र पिरामिड के लिए अपार ख्याति मिली पर एक वक्त ऐसा भी था जब तीस साल पहले करीब 90 फीसदी फ्रांसीसी इस इमारत को बेकार की कवायद के रूप में देखते थे। शीशे की बनी इस इमारत को आज आधुनिक वास्तुकला में मील के पत्थर के ...
पाकिस्तान सरकार ने हाल में संघीय जांच एजेंसी (एफआईए) को आदेश दिया है कि वह शादी का झांसा देकर पाकिस्तानी लड़कियों की चीन में तस्करी करने में शामिल गिरोहों के खिलाफ कार्रवाई करे. ...
अमेरिका चीन को जितना माल बेचता है, चीन उससे लगभग चार गुना अमेरिका को बेचता है. अमेरिका के शहरों और दूरदराज के गांवों की दुकानें भी चीनी माल से पटी रहती हैं. चीन और अमेरिका के बीच लगभग साढ़े सात सौ बिलियन डॉलर का व्यापार है. ...
चीन ने अमेरिका की कार्रवाई पर जवाबी कदम उठाते हुए 60 अरब डॉलर के अमेरिकी सामानों पर सोमवार को आयात-शुल्क बढ़ा दिया। इससे पहले अमेरिका ने चीन के 200 अरब डॉलर के सामानों पर शुल्क बढ़ाया था। चीन सरकार ने कहा है कि वह ‘‘ विदेशी दबाव के आगे नहीं झुकेगी।’’ ...
हिन्दुस्तान यूनिलीवर, इन्फोसिस, बजाज फाइनेंस, कोल इंडिया और हीरो मोटोकार्प का शेयर मूल्य 0.87 प्रतिशत तक बढ़ गया। वैश्विक बाजारों के कमजोर संकेतों का घरेलू निवेशकों पर असर पड़ा। अमेरिका- चीन के बीच व्यापार वार्ता से जुड़े समाचारों को देखते हुये चीन, ...
अमेरिकी कदम से पहले चीन ने शायद उसका हल भी निकाल लिया है क्योंकि बीती 9 मई को चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स की वेबसाइट पर एक लेख प्रकाशित हुआ है जिसका शीर्षक 'India to fill gap in China market amid trade row' है। ...