भारतीय संसद (राज्य सभा और लोक सभा) की हर साल होने वाली तीन बैठकों को संसद सत्र कहते हैं। इन सत्रों में सभी विधायी कार्य पूरे किये जाते हैं। भारतीय संविधान के अनुसार संसद के दो सत्रों के बीच छह महीने से ज्यादा अंतराल नहीं होना चाहिए। इस वजह से हर साल संसद के कम से कम दो सत्र जरूर आयोजित होते हैं।संसद का बज़ट सत्र फ़रवरी से मई के बीच आहुत होता है। संसद का मॉनसून सत्र जुलाई से सितम्बर के बीच आहुत होता है। संसद का शीतकालीन सत्र नवंबर से दिसंबर के बीच आयोजित होता है। बज़ट सत्र के दौरान भारत सरकार अपना सालाना या अंतरिम बज़ट पेश करती है। इस बज़ट में सरकार वार्षिक आय और व्यय का लेखा-जोखा पेश करती है। Read More
सरकार के आंकड़ों के अनुसार महिला श्रम बल भागीदारी दर में पिछले कुछ सालों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। यह 2017-18 में 23.3 प्रतिशत से बढ़कर 2022-23 में 37 प्रतिशत तक पहुंच गई है। ...
Lokmat National Conclave: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने ‘लोकमत कॉनक्लेव’ में कहा, ‘‘हमारे संसदीय लोकतंत्र में सांसदों और मीडिया को सवाल पूछने का विशेषाधिकार है, लेकिन जब संसद में रखी जाने वाली बातें कार्यवाही से निकाली जाती हैं, शायरी तक निक ...
कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने कांग्रेस के तीरंगा मार्च पर कहा कि कांग्रेस और उनके गिरोह के सदस्य केवल एक शख्स को बचाने के लिए संसद को बाधित कर रहे हैं। यह बेहद शर्मनाक है कि संसद का पूरा बजट सत्र राहुल गांधी की भेट चढ़ गया। ...
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने मोदी सरकार पर तीखा हमला करते हुए आरोप लगाया है कि संसदीय लोकतंत्र के लिए इससे ज्यादा क्या खराब स्थिति हो सकती है कि देश के विकास में खर्च होने वाले बजट को संसद में बिना चर्चा के पास कर दिया गया। ...