शरीर कई प्रकार कि कोशिकाओं से बना है। यह कोशिकाएं शरीर में बदलावों के कारण बढ़ती रहती हैं। जब ये कोशिकाएं अनियंत्रित तौर पर बढ़ती हैं और पूरे शरीर में फैल जाती हैं, तब यह शरीर के बाकि हिस्सों को अपना काम करने में दिक्कत देती हैं। जिससे उन हिस्सों पर कोशिकाओं का गुच्छा सौम्य गांठ या ट्यूमर बन जाता है। इस अवस्था को कैंसर कहते हैं। यही ट्यूमर घातक होता है और बढ़ता रहता है। कैंसर के विभिन्न प्रकार, सर्वाइकल कैंसर, ब्लैडर कैंसर, कोलोरेक्टल कैंसर, स्तन कैंसर, ब्रेन ट्यूमर, एसोफैगल कैंसर, पैंक्रियाटिक कैंसर, बोन कैंसर हैं। Read More
अनुसंधानकर्ताओं ने बताया कि दोनों ही प्राथमिक विश्लेषण में सामने आया कि प्रायोगिक दवा के मुकाबले ओसिमर्टिनिब 51 प्रतिशत तक मौत के खतरे को कम कर देती है। प ...
जानकारों की माने तो लोगों में तंबाकू या किसी भी नशे की लत को छुड़ाने के लिए अदरक को बहुत ही उपयोगी माना गया है। इसके सेवन से आप में नशे की इच्छा खत्म हो जाएगी और आप धीरे-धीरे नशा मुक्त हो जाएंगे। ...
पश्चिम बंगाल के खरदाह की रहने वाली 60 वर्षीय शिवानी चक्रवर्ती पिछले कई सालों से टर्मिनल कैंसर से जूझ रही हैं। वह अपने जीवन में कम से कम एक बार स्टार से मिलना चाहती थीं। जब शाहरुख ने उन्हें वीडियो कॉल किया तो उन्हें यकीन ही नहीं हुआ। ...
अमेरिकन कैंसर सोसायटी के अनुसार, प्रत्येक सप्ताह कम से कम 150 मिनट की मध्यम-से-जोरदार शारीरिक गतिविधि करना बहुत ही जरूरी है। ऐसे में जो कोई एक जगह बैठे ही रहता है और या फिर हिलता भी नहीं है तो उन्हें इस कारण काफी समस्या भी हो सकती है। ...
महिला सालों से आँख के नीचे और नाक के पास एक लाल धब्बे को लेकर चिंतित थी, इसी सिलसिले में वह डॉक्टरों के पास पहुंची थी। त्वचा विशेषज्ञ ने जब इसकी जांच की तो इसे दुनिया के सबसे छोटे कैंसर के रूप में चिह्नित किया। ...
इस अध्ययन में यह पाया गया है कि कैंसर वाले मरीजों के खून में एक प्रोटीन मौजूद होता है जो दिल की बीमारी का कारण बनता है। ऐसे में शोधकर्ताओं ने 33 ऐसे प्रोटीन की खोज की है जिसके कारण हृदय रोगों का खतरा बढ़ा सकता है। ...
नई तकनीक को ‘रोबोटिक ब्रोंकोस्कोपी’ कहा जाता है और डॉक्टरों को इमेजिंग मार्गदर्शन और मिनी-ट्यूब के माध्यम से फेफड़ों के दूरस्थ हिस्सों तक पहुंचने की अनुमति देता है। नई रोबोटिक तकनीक फेफड़ों के कैंसर के घातक होने से पहले उसका पता लगाती है, उसका इलाज क ...
अगले दो-तीन साल में आयुर्वेद के जरिये भारत और दुनिया के मरीजों को प्रभावी कैंसर उपचार का विकल्प प्रदान कर सकेगा। इसके लिए देश में पहली बार आयुर्वेद से तैयार वी2एस2 दवा पर परीक्षण शुरू होगा। मुंबई के टाटा मेमोरियल अस्पताल में यह परीक्षण शुरू होगा जिसे ...