जानें क्यों मनाई जाती है लोहड़ी, क्या है इसके पीछे की कहानी
By लोकमत समाचार हिंदी ब्यूरो | Updated: January 12, 2018 16:20 IST2018-01-12T16:14:29+5:302018-01-12T16:20:05+5:30

पंजाब और उत्तर भारत के कुछ राज्यों में लोहड़ी का त्यौहार बड़ी धूम धाम से मनाया जाता है।

लोहड़ी की शाम को बीच में आग जलाकर सभी आग के फेरे लेते हैं। आग में तिल, गुड़ डाला जाता है।

यह प्रार्थना की जाती है कि इस जलती आग में उनके सभी दुःख जलकर नष्ट हो जाएं।

क्या आप इस त्यौहार को मानाने के पीछे की कहानी को जानते हैं?

एक लोक प्रचलित कहानी के अनुसार सुंदरी और मुंदरी नाम की दो बहनें थीं। बचपन में ही पिता की मौत हो गई थी।

ये दोनों अपने चाचा के पास आ गईं। लेकिन जालिम चाचा ने दोनों को एक जमींदार को बेचने की सोची।

ये बात जैसे ही दुल्ला भट्टी नाम के डाकू को पता चली तो उसने चाचा के चंगुल से दोनों लड़कियों को छुड़ाया।

दुल्ला भट्टी ने उनका लालन पोषण किया और बड़े होने पर उनकी शादी करने का सोची।

दुल्ला भट्टी ने आग जलाई और उसी आग के आसपास फेरे लेते हुए दोनों लड़कियों की शादी कर दी।

दूल्हा भट्टी के पास दोनों को देने के लिए कुछ नहीं था इसलिए उसने दोनों की झोली में गुड़ डालकर उन्हें विदा कर दिया।

तभी से कहानी को आधार मानते हुए लोहड़ी का त्यौहार बड़ी धूम धाम से मनाया जाता है।

वैसे ज्यादातर तस्वीरें हमने फिल्म वीर-जारा के गाने 'तेरे कुर्बान जावाँ' से ली हैं।

















