लखनऊ: उत्तर प्रदेश में हाल ही में संपन्न राज्यसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद अटकलें तेज हो गई हैं कि मायावती बहुजन समाज पार्टी पार्टी की टूट को बचाने के लिए भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन करते हुए आगामी लोकसभा चुनाव लड़ सकती है।
समाचार वेबसाइट फ्री प्रेस जर्नल के अनुसार उत्तर प्रदेश में बहुजन समाज पार्टी के बलिया से इकलौते विधायक उमाशंकर सिंह द्वारा बीते मंगलवार को राज्यसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार के पक्ष में वोट देने और बसपा सांसदों में मची भगदड़ को देखते हुए राजनीतिक हलकों में अटकलें लग रही हैं कि बसपा आगामी लोकसभा चुनाव में एनडीए के साथ गठबंधन करने के लिए तैयार हो सकती है।
अब तक बसपा ने एनडीए और इंडिया दोनों गुटों से समान दूरी बनाए रखी थी। लेकिन अब बलिया की रसड़ा सीट से बसपा के विधायक उमा शंकर सिंह ने खुलासा किया कि उन्होंने बसपा प्रमुख मायावती से मंजूरी मिलने के बाद मंगलवार को भाजपा उम्मीदवार को अपना वोट दिया है।
उन्होंने कहा, "एनडीए उम्मीदवार संजय सेठ ने समर्थन के लिए मुझसे संपर्क किया। इंडिया ब्लॉक के नेताओं ने मुझसे संपर्क नहीं किया। मेरे सेठ के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध हैं और पार्टी प्रमुख मायावती की अनुमति के बाद मैंने भाजपा उम्मीदवार को वोट दिया।"
वहीं अब बसपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि राज्यसभा चुनावों में भाजपा उम्मीदवार का समर्थन करने के बाद मायावती लोकसभा चुनावों में भाजपा के साथ गठबंधन पर विचार कर सकती हैं। उन्होंने कहा, "हालांकि वह अभी भी इस बात पर जोर दे सकती हैं कि बसपा अकेले चुनाव लड़ेंगी, लेकिन राजनीति में पर्दे के पीछे बहुत कुछ चलता रहता है।"
मालूम हो कि इसी हफ्ते अंबेडकर नगर से बीएसपी के लोकसभा सांसद रितेश पांडे ने पार्टी पर 'उपेक्षा' का आरोप लगाते हुए पार्टी से इस्तीफा दे दिया था। इस्तीफे के कुछ घंटे बाद ही वह यूपी के डिप्टी सीएम ब्रजेश पांडे की मौजूदगी में बीजेपी में शामिल हो गए थे। हालांकि, मायावती ने बीजेपी पर उनकी पार्टी को तोड़ने की कोशिश का आरोप नहीं लगाया है।
हालांकि मायावती ने पिछले हफ्ते यह घोषणा की थी कि उनकी पार्टी स्वतंत्र रूप से लोकसभा चुनाव लड़ेगी क्योंकि बसपा का गठबंधन के साथ चुनाव में जाने का पिछला अनुभव अच्छा नहीं था।