पटनाः बिहार में कोरोना संक्रमण की बढ़ती रफ्तार के बीच नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने एक बार फिर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधा है.
उन्होंने राज्य में कोरोना से मुकाबले के लिए स्वास्थ्य इंतजामों को लेकर सरकार के सामने कई सवाल खडे़ किए हैं. लेकिन सबसे खास बात यह है कि तेजस्वी ने बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडे को पश्चिम बंगाल की चुनावी ड्यूटी से छुट्टी दिए जाने की मांग रखी है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा को ट्वीट करते हुए लिखा है कि बिहार के स्वास्थ्य मंत्री को पश्चिम बंगाल में चुनावी ड्यूटी से फिलहाल छुट्टी दे दें. तेजस्वी ने सोशल मीडिया में एक लंबा पोस्ट लिख कर बिहार की हालत को बहुत भयावह बताया है. उन्होंने लिखा है कि ‘पिछले 2 दिनों में 2 आईएएस अधिकारियों और कुछ अन्य अधिकारियों ने अपनी जान गंवाई है.
आम लोगों के बारे में कल्पना कीजिए. कई वरिष्ठ आईएएस, अधिकारी, डॉक्टर, कर्मचारी भर्ती हैं. पटना के अस्पतालों में भी कोई बिस्तर उपलब्ध नहीं है. स्वास्थ्य सचिव ने भारतीय सेना से डॉक्टरों की मांग की है.’ उन्होंने लिखा है कि कोरोना वायरस से फैले संक्रमण के बाद से ही मैं बार-बार बिहार सरकार को असंवेदनशील झुग्गी से जागने के लिए अस्पतालों की क्षमता बढ़ाने, टेस्टिंग बढ़ाने, मेक शिफ्ट अस्पताल, क्वारंटीइन और आइसोलेशन सेंटर बनाने, बिहार में आने वाले सभी लोगों का परीक्षण करने के लिए बार-बार कह रहा हूं.
बिहार के मुख्यमंत्री से समय लिया और फिर से अनुरोध किया कि वेंटिलेटर और ऑक्सीजन का स्टॉक बढाया जाए, लेकिन कुछ नहीं हुआ. कोरोना मरीजों की संख्या और मौत के आंकड़ों को भी गलत तरीके से पेश किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि सब कुछ बहरे कानों में पड़ गया. समस्या को ठीक करने के बजाय, उन्होंने हेडलाइंस, ईमानदार अधिकारियों को तय किया और संख्याओं को निर्धारित किया.
परिणामस्वरूप राज्य को फिर से ठीक करने के लिए उन्होंने एक साल बर्बाद कर दिया." तेजस्वी ने कहा कि बिहार आने वाले हर एक शख्स को कोरोना टेस्टिंग की व्यवस्था होनी चाहिए. उधर, तेजस्वी यादव के इस आरोप पर बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने भी अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि "वह बिहार से बाहर नहीं हैं. राजद ने हमेशा झूठ और अफवाह की राजनीति की है. मैं अभी पटना में ही अपने आवास पर हूं."