टोक्यो ओलंपिक में भारतीय पुरुष हॉकी टीम के लिए रविवार का दिन बेहद शर्मनाक रहा। टीम इंडिया को ऑस्ट्रेलिया के हाथों 7-1 से करारी शिकस्त मिली और भारतीय टीम का डिफेंस बेहद कमजोर नजर आया। ऐेसा लगा कि ऑस्ट्रेलिया के सामने भारतीय हॉकी टीम ने पूरी तरह से समर्पण कर दिया।
इससे पहले भारतीय टीम न्यूजीलैंड के सामने भी फिसड्डी साबित हुई थी और ग्रुप ए के मुकाबले में 3-2 से हार गई थी। अब भारत को स्पेन, अर्जेंटीना और जापान जैसे टीमों से मुकाबला है। भारतीय टीम की कोशिश तीनों मैचों में जीत दर्ज करने की होगी।
मैच के दौरान निरंतर अंतराल पर ऑस्ट्रेलिया की टीम गोल करती रहीं। मैच के शुरू होने के बाद 10वें मिनट में ही ऑस्ट्रेलिया की टीम ने भारतीय टीम पर पहला गोल किया। इसके बाद 21वें और 23वें मिनट में ऑस्ट्रेलिया ने गोल कर भारतीय टीम को बिलकुल बैकफुट पर धकेल दिया। इसके बाद भी ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों की खेले में आक्रामकता कम नहीं हुई और उन्होंने 26वें मिनट में एक और गोल कर हाफ टाइम तक अपनी बढ़त को 4-0 कर दिया।
हाफ टाइम के बाद लगा था कि भारतीय टीम वापसी करेगी, लेकिन इस बार भी टीम इंडिया ने निराश किया। दिलप्रीत सिंह ने जरूर 34वें मिनट में गोल कर उम्मीद जगाई। उस वक्त तक स्कोर 4-1 हो गया था। हालांकि इसके बाद ऑस्ट्रेलिया ने लगातार हमले किए और टीम इंडिया पर लगातार गोल होते रहे। 40वें, 42वें और 51वें मिनट में ऑस्ट्रेलिया ने भारत पर गोल कर अपनी बढ़त को लगातार बढ़ाया और भारत को 7-1 से हरा दिया।
मैच के दौरान ऑस्ट्रेलिया की पूरी टीम काफी आक्रामक नजर आई। वहीं भारतीय टीम में न सिर्फ आक्रामकता की कमी थी, बल्कि उसका डिफेंस भी बेहद कमजोर रहा। साथ ही अटैक करने के दौरान भी टीम के खिलाड़ी ऑस्ट्रेलिया का मुकाबला नहीं कर सके। यही कारण रहा कि भारतीय टीम को शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा।