googleNewsNext

Rahul Gandhi का Modi Govt पर तंज- 'इतने सारे तानाशाहों के नाम 'M' से क्यों शुरू होते हैं?'

By गुणातीत ओझा | Published: February 4, 2021 01:54 AM2021-02-04T01:54:52+5:302021-02-04T01:55:38+5:30

लगभग दो महीने से जारी किसान आंदोलन (Farmer Protest) केंद्र सरकार के लिए मुश्किल का सबब बनता जा रहा है। इसके चलते केंद्र को बड़ा विरोध झेलना पड़ रहा है।

''तानाशाहों के नाम 'M' से''
 राहुल का इशारा किधर?

लगभग दो महीने से जारी किसान आंदोलन (Farmer Protest) केंद्र सरकार के लिए मुश्किल का सबब बनता जा रहा है। इसके चलते केंद्र को बड़ा विरोध झेलना पड़ रहा है। केंद्र की मोदी सरकार पर मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस भी लगातार हमलावर है। इस कड़ी में आज राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने मोदी सरकार पर बड़ा हमला किया है। राहुल ने बुधवार को एक ट्वीट कर कहा कि दुनिया के अधिकतर तानाशाहों के नाम M अक्षर से ही क्यों शुरू होते हैं? राहुल ने इसके पहले मंगलवार को भी एक ट्वीट में सरकार पर आरोप लगाया था कि वो किसानों को चुप करके, कुचलने की कोशिश कर रही है।

राहुल ने बुधवार को अपने ट्वीट में इतिहास में हुए कई तानाशाह शासकों के नाम लिखे।

राहुल ने अपने ट्वीट में मार्कोस (Marcos), मुसोलिनी (Mussolini), मिलोसेविच (Milošević), मुबारक (Mubarak), मोबुतु (Mobutu), मुशर्रफ (Musharraf) और माइकॉम्बेरो (Micombero) का नाम गिनाया। ध्यान रहे कि मार्कोस का पूरा नाम फर्डिनेंड इमैनुएल एड्रैलिन मार्कोस (Ferdinand Emmanuel Edralin Marcos) था जो फिलिपींस का राष्ट्रपति बना। उसने सैन्य तानाशाही वाले कई कड़े और बर्बर कानूनों का इस्तेमाल किया।

वहीं, बेनितो मुसोलिनी इटली का एक राजनेता था जिसने फासीवाद के दर्शन की नींव रखी। स्लोबोदान मिलोशेविच सर्बिया का राजनेता था जिसे तानाशाह के रूप में देखा जाता है। होस्नी मुबारक मिस्र का, कर्नल जॉसेफ मोबुतु कॉन्गो का, जनरल परवेज मुशर्रफ पाकिस्तान और माइकल माइकॉम्बेरो बुरुंडी का तानाशाह था।

बहरहाल,लंबे वक्त से चल रही राजनीतिक उठापटक के बाद म्यांमार की सेना ने आखिरकार तख्तापलट करते हुए देश की शीर्ष नेता आंग सान सू ची समेत कई लोगों को हिरासत में ले लिया। इसकी दुनियाभर में निंदा हो रही है और चीन की भूमिका पर सवाल उठने लगे हैं। दरअसल, पिछले महीने ही चीन के राजनयिक वांग यी ने म्यांमार सेना के कमांडर इन चीफ मिन आंग लाइंग से मुलाकात की थी और अब तख्तापलट पर उसकी प्रतिक्रिया भी बेहद ठंडी रही है।

राहुल गांधी ने बुधवार को आरोप लगाया था कि 'मोदी सरकार का राज करने का स्टाइल है- चुप कराओ और कुचल दो।' उनकी यह प्रतिक्रिया ट्विटर की ओर से किसान संगठनों से जुड़े ट्विटर अकाउंट्स को सस्पेंड करने की एक खबर पर आई थी। राहुल ने दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसानों के प्रदर्शनस्थल की दिल्ली पुलिस द्वारा बैरिकेडिंग किए जाने की तस्वीरें साझा कर सरकार को सलाह दी थी कि उन्हें 'पुल बनाना चाहिए, दीवारें नहीं।'

कांग्रेस लगातार इन कृषि कानूनों को वापस लिए जाने की मांग का समर्थन कर रही है। राहुल ने बजट वाले दिन संसद परिसर में कांग्रेस सासंदों के साथ विरोध-प्रदर्शन भी किया था। बुधवार को विपक्ष के प्रदर्शन के बीच उसकी सहमति के साथ सरकार ने राज्यसभा में कृषि कानूनों पर चर्चा करने के लिए वक्त तय किया है।

टॅग्स :राहुल गांधीकांग्रेसकिसान आंदोलननरेंद्र मोदीRahul GandhiCongressfarmers protestNarendra Modi