हिंदू धर्म में पंचांग देखने और इसके अनुसार अपने कार्यों को निर्धारित करने की विशेष मान्यता है। भारतीय ज्योतिष शास्त्र में 'पांच अंगों' की जानकारी को ही पंचांग कहते हैं। ये अंग तिथि, वार, नक्षत्र, योग और करण हैं। हिंदू धर्म में सूर्य और चंद्र के अंतर से तिथि का निर्माण होता है और इसी हिसाब से नक्षत्र आदि भी बदलते हैं। आम बोलचाल की भाषा में आप पंचांग को ज्योतिष का कैलेंडर भी कह सकते हैं। यह ऐसी तालिका है जो अलग-अलग समय और तिथियों में खगोलीय बदलाव की जानकारी देते हैं।