उत्तर प्रदेश के वर्तमान उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य फूलपुर लोकसभा सीट से सांसद थे। विधानपरिषद की सदस्यता ग्रहण करने के बाद उन्होंने लोकसभा से इस्तीफा दे दिया। इसके बाद यहां हो रहे उपचुनाव के लिए 11 मार्च को मतदान होगा और 14 मार्च को वोटों की गिनती की जाएगी। देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू की पारंपरिक सीट रही फूलपुर लोकसभा में इस बार मुख्य मुकाबला भाजपा और सपा के बीच माना जा रहा है। बसपा सुप्रीमो मायावती ने सपा प्रत्याशी को समर्थन की घोषणा करके भाजपा के लिए और मुश्किलें खड़ी कर दी हैं।
फूलपुर लोकसभाः किसने किसपर खेला दांव?
फूलपुर लोकसभा सीट के लिए बसपा और सपा दोनों पार्टियों ने पटेल उम्मीदवार उतारा है। भाजपा की तरफ से कौशलेंद्र सिंह पटेल प्रत्याशी हैं वहीं सपा ने नागेंद्र सिंह पटेल पर दांव खेला है। कांग्रेस ने मनीष मिश्रा को टिकट दिया है। बहुजन समाज पार्टी इस बार चुनाव नहीं लड़ रही है। सुप्रीमो मायावती ने सपा प्रत्याशी को समर्थन देने का फैसला किया है।
यह भी पढ़ेंः- गोरखपुर लोकसभा उपचुनावः लगातार बढ़ा योगी की जीत का ग्राफ, सपा-बसपा की दोस्ती बदलेगी समीकरण?
फूलपुर लोकसभाः ऐतिहासिक पृष्ठभूमि
फूलपुर लोकसभा सीट से देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू चुनाव लड़ते थे। 1952, 1957 और 1962 में फूलपुर सीट से चुनाव वो लोकसभा पहुंचे थे। उनके निधन के बाद फूलपुर से उनकी बहन विजय लक्ष्मी पंडित चुनाव लड़ती रही और लगातार दो बार सांसद चुनी गई। 1969 के उपचुनाव में संयुक्त सोशलिस्ट पार्टी के जनेश्वर मिश्र ने चुनाव जीता। 1971 में यह सीट एक बार फिर कांग्रेस के खाते में गई और वीपी सिंह जीते। 1984 में रामपूजन पटेल ने कांग्रेस के टिकट पर जीत दर्ज की। 1989 और 1991 के चुनाव में रामपूजन पटेल ने जनता दल के टिकट से चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की। इसके बाद यह सीट समाजवादी पार्टी के हिस्से चली गई और 1996 से 2004 तक सपा के सांसद रहे। 2009 लोकसभा चुनाव में बीएसपी के कपिल मुनि करवरिया ने जीत दर्ज की थी।
यह भी पढ़ेंः- उपचुनाव 2018 से जुड़ी पूरी कवरेज
फूलपुर लोकसभाः कुछ जरूरी बातें
- फूलपुर लोकसभा क्षेत्र में कुल 19,35,218 मतदाता हैं। - पुरुष मतदाताओं की संख्या 10,70,897 है।- महिला मतदाताओं की संख्या 8,64,321 है।- 18 से 35 आयुवर्ग के मतदाताओं की संख्या 41 प्रतिशत है।- 2011 की जनगणना के मुताबिक इस क्षेत्र में 85 प्रतिशत हिंदू और 13 प्रतिशत मुस्लिम रहते हैं।