गूगल ने अपने एंड्रॉयड यूजर्स की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए फोन को नुकसान पहुंचाने वाले ऐप्स को हटाए हैं। एंड्रॉयड यूजर्स को इस तरह की ऐप्स से बचाने के लिए साल 2017 में 7 लाख से ज्यादा ऐप्स को गूगल प्ले स्टोर से डिलीट किया गया है। यह आंकड़ां 2016 के मुकाबले 70 प्रतिशत ज्यादा है। इस बात की जानकारी गूगल ने दी है।
जानकारी के मुताबिक, गूगल ने प्ले स्टोर से उन ऐप्स को हटा दिया है जिन्होंने कंपनी के सुरक्षा पॉलिसी का उल्लंघन किया है। इसके अलावा, कंपनी ने 1 लाख डेवलपर्स को भी प्ले स्टोर से हटाया है। ये वो डेवलपर्स थे जो अश्लील, मैलवेयर वाला ऐप और ऐसे ऐप्स अपलोड करते थे जो गूगल की पॉलिसी के खिलाफ है।
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गूगल प्ले के प्रोडक्ट मैनेजर एंड्रू ने एक ब्लॉग पोस्ट में लिखा- ''न ही सिर्फ हमने 2017 में इस तरह की बुरी ऐप्स को ज्यादा तादात में हटाया। साथ ही हम ऐसी ऐप्स को पहले के मुकाबले जल्दी ढूंढ पाएं और उसके लिए जल्दी कार्यवाही भी कर पाए। अपमानजनक सामग्री के साथ आई 99 प्रतिशत ऐप्स को किसी के इनस्टॉल करने से पहले ही ढूंढ कर, उसका निवारण भी कर दिया गया।'' गूगल ने अपनी इस सफलता का श्रेय नई मशीन लर्निंग मॉडल्स और तकनीक को दिया है।
याद हो कि गूगल ने पिछले साल ही Google Play Protect लॉन्च किया है। कंपनी ने इसे उन ऐप्स के लिए पेश किया है जो वायरस से लैस है। प्ले प्रोटेक्ट दरअसल एंड्रॉयड में इंस्टॉल्ड ऐप्स को स्कैन करता है। इन सब के बावजूद आम तौर पर एंड्रॉयड प्ले स्टोर और ऐप्स के जरिए स्मार्टफोन्स में सबसे ज्यादा मालवेयर अटैक होता है।
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कंपनी के मुताबिक गूगल प्ले प्रोटेक्ट को 2 अरब डिवाइस में शामिल है और यह ऐप में छिपे मालवेयर को स्कैन करने का काम करता है। आपको बता दें कि अपने एंड्रॉयड डेवलपर्स ब्लॉग में गूगल ने Impersonation या 'copy cats' को गूगल प्ले स्टोर में सबसे खतरनाक ऐप्स माना है। ये ऐप असली ऐप की तरह ही दिखते हैं जिससे यूजर धोखे में डाउनलोड कर लेते हैं।