Karnataka Assembly Election: कर्नाटक में सभी 224 विधानसभा सीटों पर मतदान संपन्न हो चुका है। चुनाव लड़ने वालों में मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के साथ पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, कांग्रेस अध्यक्ष डीके शिवकुमार, जेडीएस के मुखियाा एचडी कुमारस्वामी जैसे कई दिग्गज शामिल हैं और सबका भविष्य अब ईवीएम में बंद हो गया है। मतगणना 13 मई को होगी। वोटिंग के बाद एक्जिट पोल के नतीजे भी आ गए हैं।
जी न्यूजऔर मैट्रिज के एग्जिट पोल के अनुसार, कर्नाटक में कांग्रेस को 103-118 सीटें मिलने का अनुमान है, जबकि बीजेपी को 79-94 सीटें मिलने की संभावना है। वहीं, जेडीएस को 25-33 सीटें मिलने की संभावना है। अन्य के खाते में दो से पांच सीटें जा सकती हैं। टीवी9 भारतवर्ष और पोलस्ट्रैट एग्जिट पोल में कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 99 से 109 सीटें, भाजपा को 88से 98 सीटें, जेडीएस को 21-26 सीटें मिलती दिख रही हैं।
रिपब्लिक और पी मारक्यू के एग्जिट पोल के अनुसार, कर्नाटक में भाजपा को 85 से 100 सीटें मिलने का अनुमान है, जबकि कांग्रेस को 94 से 108 सीटें मिलने की संभावना है। टीवी9 कन्नड सी-वोटर ने अपने एग्जिट पोल में भाजपा को 83 से 95 सीटें मिलने का अनुमान जताया है। वहीं, कांग्रेस को 100 से 112 सीटें मिल सकती हैं।
2018 के विधानसभा चुनावों में भाजपा के 104 प्रत्याशियों ने जीत हासिल की थी। दूसरे नंबर पर कांग्रेस के 80 और जेडीएस के 37 उम्मीदवार चुनाव जीते थे। शुरू में कांग्रेस और जेडीएस ने मिलकर सरकार बनाई लेकिन 26 मई 2019 को बीएस येदियुरप्पा एक बार फिर से मुख्यमंत्री बन गए। 28 जुलाई 2021 को येदियुरप्पा की जगह बसवराज बोम्मई को मुख्यमंत्री बनाए गए।
कर्नाटक में 2615 उम्मीदवार मैदान में हैं। राज्य में 5.3 करोड़ से ज्यादा मतदाता हैं, इनमें 11.71 लाख वोटर्स पहली बार मतदान कर रहे हैं। राज्य में 2.66 करोड़ पुरुष और 2.63 करोड़ महिलाएं हैं। जबकि 5.71 लाख से ज्यादा दिव्यांग वोटर्स हैं। कर्नाटक में अभी बीजेपी की सरकार है। बीजेपी हर 5 साल में सत्ता बदलने वाले 38 साल पुराने ट्रेंड को तोड़ना चाहती है, तो वहीं कांग्रेस इस बार बीजेपी को सत्ता से बाहर करने का दावा कर रही है। जेडीएस को उम्मीद है कि 2018 की तरह एक बार फिर पार्टी किंग मेकर की भूमिका में आ सकती है।
इन चुनावों के लिए सभी पार्टियों ने अपनी पूरी ताकत झोंक दी थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह के अलावा कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के अलावा राहुल गांदी ने भी जम कर प्रचार किया। चुनाव से कुछ समय पहले जारी किया गया कांग्रेस का घोषणा पत्र बड़ा चुनावी मुद्दा बन गया जब पार्टी ने बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की बात की।
लगभग 3 लाख मतदान कर्मियों को कर्नाटक चुनाव के लिए तैनात किया गया था। शाम पांच बजे तक के आंकड़ों के अनुसार, इस बार सबसे ज्यादा वोटिंग रामनगरम जिले में हुई। जिले में इस बार 78.22 फीसदी वोटिंग हुई। इसके बाद चिक्कबल्लपुर में 76.64% और बंगलुरु ग्रामीण में 76.10% मतदान हुआ। शाम पांच बजे तक के आंकड़ों के अनुसार, सबसे कम मतदान बीबीएमपी साउथ में जिले में हुआ। यहां 48.63 फीसदी वोटिंग ही हुई। इसके बाद बीबीएमपी साउथ में 50.02% और बीबीएमपी सेंट्रल में 50.10% मतदान दर्ज किया गया।