यातायात नियमों का पालन लोग जब तक नहीं करेंगे, तब तक बड़ी संख्या में दुर्घटनाएं होती रहेंगी. भले ही कितनी भी चौड़ी और अच्छी सड़कें क्यों न बन जाए. देश में यातायात संस्कृति विकसित करने की सख्त जरूरत है. ...
किसी भी भवन का निर्माण सरकारी अनुमति के बगैर असंभव है. यदि अनेक स्तर पर छानबीन होने के बाद अनुमति मिलती है तो गड़बड़ी कैसे हो सकती है? जाहिर तौर पर इसके लिए भ्रष्ट अधिकारी जिम्मेदार हैं. ...
हाल के वर्षों में भारत गरीबी और बेरोजगारी से संबंधित मुद्दों के बावजूद विश्व में सबसे तेजी से उभरती हुई अर्थव्यवस्थाओं में से एक के रूप में उभरा है. ...
निचली अदालतों और उच्च न्यायालयों में ऐसे लाखों मुकदमे हो सकते हैं, जो कई दशकों से चल रहे हैं. संभव है कि उनकी प्रासंगिकता अब खत्म हो चुकी हो. ऐसे मुकदमों का भी पता लगाया जाना चाहिए. ...
अवसाद से लोग ग्रसित नहीं हों, इसकी जिम्मेदारी बहुत हद तक परिवार की ही है. अकेलापन, शिक्षा, करियर में जबर्दस्त प्रतिस्पर्धा, प्रेम में विफलता, बीमारियां, घर का नकारात्मक माहौल जैसे कई कारण हैं जो युवा पीढ़ी को अवसाद में ले जाते हैं. ...
झारखंड में पिछले दिनों सत्ताधारी गठबंधन में शामिल कांग्रेस के तीन विधायक रुपए के लेन-देन में पकड़े गए थे. जाहिर है विश्वास और अविश्वास के बीच अंतर कम है. भाजपा की तरफ से भी प्रयास जारी हैं. ...
लोकतांत्रिक मूल्य और परंपराओं के लिए भारत और अमेरिका-दोनों देश प्रतिबद्ध हैं. एक दूसरे की प्रतिभाओं को समुचित स्थान और सम्मान दिए जाने से आपसी संबंध तो मजबूत होंगे ही,इन परंपराओं का महत्व भी और बढ़ेगा. ...
महाराष्ट्र विधानभवन परिसर में बुधवार को जनप्रतिनिधियों ने जो नजारा पेश किया वह शर्मनाक तथा बेहद निंदनीय है। जन प्रतिनिधियों के आचरण को किसी जमाने में आदर्श समझा जाता था, मगर सार्वजनिक जीवन तथा राजनीति में नैतिक मूल्यों के पतन को देखते हुए अब ऐसी बात ...