शिवसेना की युवा शाखा ‘युवा सेना’ के अध्यक्ष आदित्य ठाकरे अपने दादा, पिता और चाचा की तरह ही कला में रुचि रखते हैं।
शिवसेना की 1966 में स्थापना करने वाले उनके दादा बाल ठाकरे कार्टूनिस्ट थे, यह गुण आदित्य के चाचा राज ठाकरे में भी है, जो महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के अध्यक्ष हैं। शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे भी एक पेशेवर फोटोग्राफर हैं। फोटोग्राफी की कला में आदित्य भी गंभीर रुचि रखते हैं।
ठाकरे परिवार के इतिहास में पहली बार चुनावी जंग में उतर कर आदित्य ठाकरे ने इतिहास रच दिया था। आदित्य ठाकरे द्वारा लिखी गई कविताओं के संकलन का लोकार्पण 2007 में अमिताभ बच्चन ने किया था। आदित्य 2010 में सुर्ख़ियों में तब आये थे जब उन्होंने मुंबई विश्वविद्यालय के अंग्रेजी साहित्य विभाग के पाठ्यक्रम में शामिल रोहिंटन मिस्त्री की पुस्तक ‘सच ए लॉन्ग जर्नी’ के विरोध का नेतृत्व किया था।
आदित्य ठाकरे विधि स्नातक हैं और वे राज्य के युवाओं एवं सामाजिक मुद्दों से जुड़े कार्यों में काफी सक्रिय हैं। युवाओं को लुभाने के लिए आदित्य ने मुंबई के मॉल और रेस्तरां रातभर खुले रखने की भी वकालत की थी।
शिवसेना शासित बृहन्मुम्बई महानगरपालिका ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है और अब यह स्वीकृति के लिए मुख्यमंत्री के पास लंबित है। आदित्य ठाकरे ने मुंबई की खाली जगहों पर व्यायामशालाएं खोलने के प्रयास भी किये थे लेकिन प्रशासनिक स्वीकृति न मिलने के कारण उन्हें विफलता का सामना करना पड़ा।
आदित्य के नेतृत्व में मुंबई विश्वविद्यालय की सीनेट में पिछले दो कार्यकाल से युवा सेना का दबदबा रहा है। आदित्य की स्कूली पढ़ाई मुंबई के माहिम स्थित बॉम्बे स्कॉटिश स्कूल से हुई। उन्हें अपने दादा, पिता और चाचा की भांति खेलों में भी रुचि है।
युवा सेना प्रमुख आदित्य ठाकरे ने एक नयी किताब में कहा है कि हिन्दुत्व शिवसेना की विचारधाराओं में एक है, लेकिन यह "भाजपा के हिन्दुत्व से अलग है।" छात्र-कार्यकर्ता गुरमेहर कौर की लिखी किताब "द यंग एंड द रेस्टलेस", उमर अब्दुल्ला, सचिन पायलट, आदित्य ठाकरे और शेहला राशिद समेत देश के युवा नेताओं के साक्षात्कारों की एक सीरीज है।
ठाकरे ने किताब में कहा है, "... आमतौर पर, शिवसेना जैसी पार्टी को दक्षिणपंथी माना जाता है, इसलिए क्योंकि हम हिंदुत्व को मानते हैं, और यह हमारी विचारधाराओं में से एक है। लेकिन यह भाजपा का हिन्दुत्व नहीं है, उससे बहुत अलग है।"
उन्होंने कहा कि हमारी विचारधारा मध्यमार्गी हिन्दुत्व की है, लेकिन यह दक्षिणपंथी मध्यमार्गी है। उन्होंने कहा कि हम व्यावहारिक हैं और रात के समय घूमने की आजादी, इलेक्ट्रिक बसों और प्लास्टिक प्रदूषण जैसी चीजों के बारे में बात कर रहे हैं। आप जानते हैं, हम कुछ अलग तरह की बात कर रहे हैं। युवा सेना प्रमुख ठाकरे ने कहा कि वह महाराष्ट्र में प्लास्टिक पर प्रतिबंध के अगुवा रहे हैं और लोग मुंबई में रात के समय भी आजादी से घूम सकें, इसके लिये कोशिशें कर रहे हैं।
उन्होंने किताब में कई ऐसे मुद्दों पर पार्टी की राय रखी जो भाजपा से अलग हैं, इनमें "भीड़ द्वारा हत्या'' और लोगों को राष्ट्र-विरोधी कहने का मुद्दा शामिल है। उन्होंने कहा, "उदाहरण के तौर पर कहूं...हम भीड़ द्वारा हत्या के खिलाफ बोले हैं।
हमारा हिंदुत्व, राष्ट्र के प्रति प्रेम है और उसमें यह भी है कि अगर आप सरकार के खिलाफ बोलते हैं तो आप राष्ट्र विरोधी नहीं हैं।" आदित्य (28) ने पुस्तक में कहा, "आपको सरकार से सवाल करने का अधिकार है और हर चीज को लेकर ऐसा करते रहना चाहिये।" धर्म की राजनीति और हिंदुत्व को किसी प्रकार के खतरे के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि जैसाकि "भाजपा हर चुनाव से पहले" दावा करती है, इस पर मेरा सीधा जवाब है कि "मुझे नहीं लगता कि सरकार को धर्म की चिंता करनी चाहिये।"