कासरगोड:केरल में एक महिला ने सरकारी बस सेवा में कथित रूप से यौन उत्पीड़न करने वाले एक व्यक्ति का पीछा करके उसे पकड़ा और पुलिस के हवाल कर दिया। 21 साल की इस महिला ने बताया कि वो वो 24 से 27 मार्च के बीच निजी बसों की हड़ताल के कारण वो एक दिन भीड़ से भरी सरकारी परिवहन बस सेवा में सवार होकर करिवल्लूर से कान्हांगड जा रही थी। उन्होंने बताया कि बस में बहुत भीड़ थी इसलिए वो बस के पिछले दरवाजे से बस में प्रवेश कर गईं।
उन्होंने बताया कि थोड़ी देर के बाद बस में एक शख्स मेरे पास आकर खड़ा हो गया। वो मेरी तरफ झुक गया, जिससे मुझे बेचैनी होने लगी। जब मैंने उसे दूसरी तरफ मुड़ने के लिए कहा तो उसने मुड़ने से मना कर दिया जबकि दूसरी ओर काफी जगह थी। थोड़े समय के बाद उसने मुझे परेशान करना शुरू कर दिया।
महिला ने बताया कि उसकी गंदी हरकतों से महिला को बेहद गुस्सा आ गया और उसने फौरन महिलाओं के लिए बनी पुलिस की पिंक हेल्पलाइन पर कॉल करके बस में शोर मचाने लगी। उसने कहा कि वह इस बात को अच्छे से समझती है कि भीड़भाड़ में लोग अनजाने में भूलवश स्पर्श कर देते हैं लेकिन उस शख्स द्वारा किया गया कृत्य सीधे तौर पर यौन उत्पीड़न की श्रेणी में आता था।
मामला में शोर-शराबा बढ़ता हुआ देखकर बस का कंडक्टर युवती के पास आया और बीच बचाव करते हुए उसे बस से उतरने के लिए कहने लगा। इतना ही नहीं कंडक्टर ने 21 साल की पीड़िता से घटना को नजरअंदाज करने के लिए भी कहा।
हालांकि महिला ने कहा कि यह पहली बार नहीं है जब उसने सरकारी बस में यौन उत्पीड़न का सामना किया था, लेकिन वो ये चाहती थी कि ऐसे लोगों का मन न बढ़े और भविष्य में इस तरह की घटनाएं दोबारा न हों। इसलिए जब आरोपी शख्स बस से उतरकर भागने की कोशिश करने लगा तो वह भी बस से नीचे उतर गई। इसके साथ ही उसने पुलिस को घटना का सबूत देने के लिए अपने मोबाइल का कैमरा ऑन कर दिया और उसका पीछा करना शुरू कर दिया।
महिला ने कहा, “आरोपी शख्स एक लॉटरी की दुकान में घुसा, जब मैंने उस पर वहां चिल्लाना शुरू किया तो उसने मासूम होने का नाटक किया कि जैसे वो मुझ जानता ही नहीं है। मैंने फौरन पिंक पुलिस पेट्रोल 1515 डायल किया, जिसने मुझे कान्हांगड पुलिस स्टेशन से जोड़ दिया। इस दौरान वहां मौजूद लोगों ने उसे पकड़ लिया और भागने नहीं दिया। इस दौरान एक व्यक्ति ने मेरे पास आकर कहा कि मैं आरोपी को छोड़ दूं तो मैंने उससे कहा कि अगर उसके घर में किसी महिला के साथ ऐसा व्यवहार होता तो वह क्या करता। मेरी इस बात को सुनकर वो वहां से चुपचाप चला गया।”
पीड़िता ने बताया कि थोड़ी ही देर में पुलिस भी मौके पर पहुंच गई और आरोपी व्यक्ति को गिरफ्तार करके थाने ले गई। जहां मैंने उस शख्स के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई, जिसके आधार पर एफआईआर दर्ज की गई। पुलिस को आरोपी शख्स ने बताया कि उसका नाम राजीव है और 52 साल का है।
घटना के बाद अपनी प्रतिक्रिया में पीड़िता ने कहा कि केरल सरकार ने महिलाओं की सुरक्षा के लिए पिंक पुलिस नियुक्त की है और अगर किसी के साथ यौन उत्पीड़न की घटना होती है तो फौरन उन्हें 1515 पर डायल करके मामल की सूचना पुलिस में दर्ज करानी चाहिए।
उन्होंने कहा, "महिलाओं को यह कभी नहीं सोचना चाहिए कि दूसरे लोग उनके बारे में क्या सोचेंगे। खुद की सुरक्षा महिलाओं का अपना कर्तव्य है। इसलिए वो कभी किसी और से उम्मीद न करें कि कोई आएगा और उन्हें बचाएगा। महिलाओं को स्वयं साहसी बनते हुए गंदे दिमाग वालों के खिलाफ खुद ही एक्शन लेना होगा। जिससे अत्याचारी, दुराचारी और मानसिक तौर पर विकृत लोगों को उनके किये की सजा दिलाई जा सके।"