भारतीय संविधान में भीड़ के द्वारा की गई हिंसा के लिए कोई कानून नहीं बनाया गया था। इसका फायदा उठाकर भारत में कई वारदातों को भीड़ ने अंजाम दिया। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के मुताबिक भारत की सबसे बड़ी मॉब लिंचिंग साल 1984 में हुई थी। जबकि कांग्रेस व अन्य विपक्षी पार्टियों के मुताबिक नरेंद्र मोदी सरकार में मॉब लिंचिंग की घटनाएं बढ़ गई हैं। हालांकि मॉब लिंचिंग का इंतिहास पुराना है। साल 1947 में जब हिन्दुस्तान को आजादी मिली और देश के दो टुकड़े हुए, भारत और पाकिस्तान, तब भी भीड़ ने कइयों को मौत के घाट उतार दिया था। तब उसे दंगे का नाम दिया गया था। लेकिन कई जगहों पर भारी मॉब लिंचिंग हुई थी। Read More
पालघर लिंचिंग मामलाः यह घटना उस समय हुई, जब गुरुवार रात तीन व्यक्ति मुंबई के कांदीवली से कार में सवार होकर गुजरात के सूरत जा रहे थे। इसी दौरान, पालघर जिले में भीड़ ने इन्हें चोर समझकर उनके वाहन को रोक लिया और उनकी पीट-पीटकर हत्या कर दी। ...
कोरोना संकट के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लिंक्डइन पर लोगों से चर्चा की। पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, कोरोना मुश्किलें लेकर आया है। पेशेवर लाइफ को पूरी तरह से बदल दिया है, हमारा घर ही दफ्तर बन गया है। इंटरनेट हमारा नया मीटिंग रूम है। ...
पालघर जिले में चोर के शक में ग्रामीणों की एक भीड़ ने तीन लोगों को कार से बाहर खींचा और पीट-पीटकर उनकी हत्या कर दी। घटना के बाद पुलिस ने 100 से अधिक लोगों को पुलिस ने हिरासत में लिया है। ...
पुलिस के मुताबिक, 22 वर्षीय युवक महबूब अली तबलीगी जमात के एक कार्यक्रम के लिए मध्य प्रदेश के भोपाल गया था और 45 दिनों के बाद सब्जियों के एक ट्रक में बैठकर दिल्ली वापस आया। उसके गांव में अफवाह फैल गई कि वह कोरोना वायरस फैला रहा है। इस पर लोगों ने खेत ...
पुलिस अधीक्षक वाई. एस. रमेश ने बताया कि उस गाँव में कुछ लोग चोरी की नीयत से एक घर में घुसे थे। चोरी कर भागते समय उनमें से एक को ग्रामीणों ने पकड़ लिया और पिटाई शुरू कर दी। सूचना पर जब तक पुलिस गाँव पहुँची तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। ...
शाइस्ता परवीन ने कहा कि उसकी शादी को मात्र 54 दिन हुए थे. भीड़ ने उसके पति को पीट-पीटकर मार डाला. अब उसके पास दर-दर भटकने के अलावा कोई और चारा नहीं है. अभी तक उसे न्याय नहीं मिला है. इसलिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से न्याय की गुहार लगाने वह विधानसभा प ...
बताया जाता है कि वाहन में टक्कर मारकर भाग रहे टेम्पो (ऑटो) चालक को खदेड़कर पकड़ने की कोशिश बारातियों को महंगी पड़ी. चालक जान बचाने के लिए नालंदा के हिलसा स्थित भटबीघा गांव में घुस गया. पीछा करते बाराती भी गांव में प्रवेश कर गए. गांव वालों को यह बात न ...