बिना दवा के ब्लड प्रेशर कम करने के उपाय, अपनाएं ये 5 आसान टिप्स

By संदीप दाहिमा | Published: December 21, 2021 07:17 AM2021-12-21T07:17:54+5:302021-12-21T07:17:54+5:30

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खूब पानी पियें- शरीर में पानी की कमी होने पर डिहाइड्रेट की समस्या होती है जिससे दिल की धड़कन असामान्य हो जाती है। इससे दिल को ब्लड को शरीर के सभी हिस्सों तक फ्लो करने के लिए ज्यादा ताकत लगानी पड़ती है। आपको पेय पदार्थों का भरपूर सेवन करना चाहिए। लेकिन ध्यान दें कि पेय पदार्थों का मतलब चाय, कॉफी और शरबत ही नहीं है क्योंकि कैफीन और शुगर वाली चीजों के ज्यादा सेवन से कई अन्य बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है।

नमक में मौजूद सोडियम तत्व ब्लड प्रेशर को बढ़ाता है इसलिए अगर आपको दिल की बीमारियों से बचना है तो आपको नमक का प्रयोग बहुत सीमित कर देना चाहिए। नमक का ज्यादा सेवन आपका ब्लड प्रेशर बढ़ा देता है जिससे हृदय में ब्लड ज्यादा मात्रा में पहुंचने लगता है। ज्यादा मात्रा में ब्लड होने से दिल को इसे जल्दी-जल्दी पंप करना पड़ता है और इससे हृदय गति बढ़ जाती है।

तनाव भी दिल की बीमारियों की एक बड़ी वजह है क्योंकि इसकी वजह से भी दिल की धड़कन असामान्य हो जाती है। इसके लिए अपने काम और पर्सनल लाइफ के बीच सामंजस बैठायें और तनाव को दूर करें। आप बेशक करियर पर ध्यान दें पर जिंदगी का भी आनंद उठायें। योगासन और प्रणायाम इसमें लाभकर होता है।

मोटापा कई गंभीर बीमारियों की जड़ है। इससे डायबिटीज और दिल की बीमारियों की संभावना बहुत बढ़ जाती है। हार्ट रेट को सही बनाए रखने व हृदय गति को ठीक रखने के लिए अपने वजन को नियंत्रण में रखना बेहद जरूरी होता है। मोटापा दिल से संबंधित कई बीमारियों की वजह बनता है। इसे कंट्रोल करने के लिए नियमित एक्सरसाइज करें।

रोजाना कम से कम आधा घंटा एक्सरसाइज जरूर करें। इससे दिल और शरीर दोनों स्वस्थ रहते हैं। एक्सरसाइज करने से शरीर की आर्टरीज लचीली बनती हैं। जिससे शरीर में रक्त का प्रवाह बेहतर होता है और दिल को मजबूती मिलती है। इसके लिए जिम जाना ही जरूरी नहीं, रोजाना मात्र आधा घंटा पैदल चलना भी काफी होता है।

शरीर में विषाक्त पदार्थों के शरीर में जमा होने से भी हृदय की दर धीमी होती है। इसलिए शरीर को साफ रखने के लिए समय-समय पर इसे डीटॉक्सीफाई करते रहें। ऐसे भोज्य पदार्थों को डाइट में शमिल करें जो शरीर के डीटॉक्सिफिकेशन में मदद करते हैं। धूम्रपान और शराब से दूर रहें, ये विषाक्त पदार्थों के सबसे बड़े स्रोत होते हैं।

बीपी के मरीजों को अपनी डाइट में लहसुन, आंवला, मूली, अलसी के बीज, इलायची, प्याज, काली मिर्च, तुलसी, पपीता, ब्राउन राइस, अदरक, मेथी आदि को शामिल करना चाहिए, इन चीजों में वो सभी पोषक तत्व होते हैं, शरीर के बेहतर कामकाज के लिए जरूरी हैं।