दुनिया भर में कोरोना वायरस का कहर बढ़ते जा रहा है। दुनिया के 160 से ज्यादा देशों में फैल चुके कोविड 19 के चलते अब तक 7100 से ज्यादा मौतें हुई हैं। इसका प्रभाव कई देशों की अर्थव्यवस्थाओं पर भी दिख रहा है। ऑटोमोबाइल, टूरिज्म, विमानन जैसे सेक्टर में करोड़ों लोगों की नौकरियों पर खतरा मंडरा रहा हैं। सीएनएन ने मूडी एनालिटिक्स के हवाले से बताया है कि अमेरिका में आधे लोगों के रोजगार पर संकट मंडरा रहा है।
मूडीज एनालिटिक्स के विश्लेषण के अनुसार, अमेरिका में करीब 8 करोड़ (80 मिलियन) नौकरियां उच्च या मध्यम जोखिम में हैं। यह कुल मिलाकर अमेरिका के 153 मिलियन (15.3 करोड़) नौकरियों में से आधे से अधिक है। हालांकि इसका ये मतलब नहीं है कि सभी नौकरियां खत्म हो जाएगी। मूडीज एनालिटिक्स के मुख्य अर्थशास्त्री मार्क जैंडी ने कहा कि यह संभावना है कि 1 करोड़ नौकरीपेशा लोग अपने वेतन-भत्तों पर कुछ प्रभाव देख सकते हैं। इसमें छंटनी, वेतन कटौती या काम के घंटे बढ़ाए जा सकते हैं।
मूडीज एनालिटिक्स के अनुमान के अनुसार 2.7 करोड़ लोगों की नौकरियां कोरोना वायरस के चलते उच्च जोखिम में हैं। खतरे वाली नौकरियां मुख्यत: टूरिज्म, हॉस्पिलिटी, हेल्प सर्विस, आयल ड्रिलिंग सेक्टर में हैं। अन्य 52 मिलियन नौकरियां "मध्यम जोखिम" का सामना करेंगी। ये नौकरियां मुख्यत: खुदरा, विनिर्माण, निर्माण और शिक्षा जैसे क्षेत्रों में हैं। यहां पर 50 लाख लोग बेरोजगार हो सकते हैं।
व्हाइट हाउस काउंसिल ऑफ इकोनॉमिक एडवाइजर्स के पूर्व अध्यक्ष केविन हास्सेट के अनुसार अमेरिकी अर्थव्यवस्था को जल्द झटका लग सकता है और 10 लाख लोगों की नौकरी आने वाले समय में जा सकती है। 2009 में वैश्विक मंदी के सबसे खराब महीने में अमेरिका में एक साथ 8 लाख लोगों की नौकरी चली गई थी।
पर्यटन उद्योग में जा सकती हैं 5 करोड़ नौकरियां
ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के अनुसार, कोरोना वायरस की वजह से पर्यटन उद्योग में 5 करोड़ नौकरियां जा सकती है। ब्लूमबर्ग ने वर्ल्ड ट्रेवल एंड टूरिज्म काउंसिल इंडस्ट्री ग्रुप (WTCC) के हवाले से बताया है कि विभिन्न देशों में सैकड़ों विमान जमीन पर और दर्जनों क्रूज शिप पर खड़े हैं। रिपोर्ट के अनुसार पिछले दिनों पर्यटन से जुड़ी 25 फीसदी बुकिंग्स कैंसिल हो चुकी है। डब्ल्यूटीटीसी की मैनेजिंग डायरेक्टर वर्जिनिया मेसिना ने कहा है कि टूर एंड ट्रैवल कंपनियां ज्यादा दिन तक इस नुकसान को बर्दाश्त नहीं कर पाएंगी।
WTCC के अनुसार पर्यटन सेक्टर में 2018 में करीब 32 करोड़ (319 मिलियन) लोग काम कर रहे थे। कोरोना के संकट के चलते 16 फीसदी लोग बेरोजगार हो सकते हैं। इस रिपोर्ट के अनुसार कोरोना वायरस के नुकसान से उबरने के लिए पर्यटन सेक्टर को एक से दो साल लग सकते हैं।
भारत में कोरोना वायरस का असर
ट्रैवल एजेंट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (TAAI) के अनुसार कोरोना वायरस के चलते पर्यटन उद्योग की 70-80 फीसदी बुकिंग रद्द हो रही है। इसके लिए टीएएआई ने सरकार से सहायता भी मांगी है।
वीजा पर पाबंदी से पर्यटन-विमानन क्षेत्र को 8,500 करोड़ रुपये नुकसान का अंदेशा
विदेशों से लोगों के भारत आने पर लगी पाबंदी के फैसले से पर्यटन और विमानन क्षेत्र को 8,500 करोड़ रुपये के नुकसान का अंदेशा है। सरकार ने सभी प्रकार के सामान्य वीजा पर 15 अप्रैल तक के लिए रोक लगा दी है। यात्रा कंपनियों के संगठन ‘इंडियन एसोसिएशन ऑफ टूर ऑपरेटर्स (आईएटीओ) और एसोचैम का कहना है कि पर्यटन और विमानन क्षेत्र की कंपनियां गैर-जरूरी कार्यबल में कटौती करने को मजबूर हो रही हैं और नई भर्तियां स्थगित कर दी गयी हैं।
संगठन का कहना है कि एक माह के यात्रा प्रतिबंध से होटल, विमानन और पर्यटन क्षेत्र में कम से कम 8500 करोड़ रुपये का नुकसान होगा। टूर ऑपेरटरों को कोरोना वायरस की वजह से जनवरी-मार्च तिमाही में आय में 60 फीसदी से ज्यादा गिरावट का अनुमान है। भारत में हर महीने करीब 10 लाख विदेशी पर्यटक आते हैं। विदेशी पर्यटकों के आने से हर साल सालाना 2200 करोड़ की आय होती है।