New GST Rates: सरकार ने आम जनता को राहत देने के लिए जीएसटी में कटौती का ऐलान किया है। जरूरी घरेलू सामान, दवाइयाँ, छोटी कारें और उपकरण जैसी वस्तुओं पर टैक्स कम कर दिया गया है जो कि 22 सितंबर से लागू हो जाएगा। 56वीं जीएसटी परिषद की लंबी बैठक के बाद केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा घोषित इन बदलावों से 2023-24 के उपभोग पैटर्न के आधार पर ₹48,000 करोड़ का शुद्ध राजस्व प्रभाव पड़ेगा, लेकिन यह ऐसे समय में घरेलू माँग को बढ़ावा देकर विकास पर एक दांव है जब निर्यात को अमेरिकी टैरिफ के कारण मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।
सरकार द्वारा जीएसटी संरचना को चार स्लैब से घटाकर 5% और 18% की दो मुख्य दरों तक सीमित करने से कई श्रेणियों की 90% से ज़्यादा वस्तुएँ सस्ती हो जाएँगी, जिसमें विलासिता और अहितकर वस्तुओं के लिए 40% का विशेष शुल्क आरक्षित होगा।
सीतारमण ने कहा कि ये बदलाव "आम आदमी और मध्यम वर्ग" के लिए पूरी तरह से राहत प्रदान करते हैं। यह सुधार केवल दरों को युक्तिसंगत बनाने के बारे में नहीं है। यह संरचनात्मक सुधारों पर भी आधारित है। सीतारमण ने कहा, "यह जीवन को आसान बनाने के बारे में भी है, ताकि व्यवसाय जीएसटी के साथ अपना संचालन आसानी से कर सकें।"
हालांकि, परिषद ने सिगरेट, मध्यम आकार की और लग्जरी कारों, और कार्बोनेटेड पेय पदार्थों सहित "सुपर लग्जरी" और "अशुद्ध" वस्तुओं पर 40% अधिक कर को भी मंजूरी दी, जो वर्तमान क्षतिपूर्ति उपकर संरचना की जगह लेगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नागरिकों को दिवाली उपहार देने का वादे को पूरा करने के लिए जीएसटी की नई दरें 22 सितंबर से लागू की जाएगी।
सरकार ने कहा कि सिगरेट, ज़र्दा और बीड़ी सहित तंबाकू उत्पादों पर दरें मौजूदा दरों के तहत तब तक जारी रहेंगी जब तक कि क्षतिपूर्ति उपकर देनदारियों का पूरी तरह से भुगतान नहीं हो जाता। नई दरों की अधिसूचना बाद में जारी की जाएगी। विशेषज्ञों ने कहा कि ये बदलाव "भारतीय उद्योग जगत के लिए एक अवसर और ज़िम्मेदारी दोनों पेश करते हैं"।
विशेषज्ञों ने भी इस फैसले के समय की सराहना की, खासकर ट्रंप के टैरिफ जैसे बाहरी प्रतिकूल हालात को देखते हुए। चूँकि ब्याज दरों में कटौती 22 सितंबर से लागू होगी, इसलिए उद्योग जगत को इन बदलावों के लिए तैयार होने का कुछ समय मिल जाएगा, जिसमें उपभोक्ताओं तक लाभ पहुँचाने की व्यवस्था भी शामिल है।