लाइव न्यूज़ :

डब्ल्यूएचओ ने कोवैक्सीन के आपात उपयोग की मंजूरी दी, फार्मा कंपनी ने महत्वपूर्ण कदम बताया

By भाषा | Updated: November 3, 2021 22:38 IST

Open in App

(पायल बनर्जी)

नयी दिल्ली, तीन नवंबर विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने बुधवार को भारत बायोटेक के कोविड रोधी टीके कोवैक्सीन के आपात उपयोग के लिए मंजूरी दे दी। भारत बायोटेक ने इसे स्वदेश विकसित टीके तक वैश्विक पहुंच को व्यापक बनाने की दिशा में अहम कदम बताया।

इससे पहले डब्ल्यूएचओ के तकनीकी परामर्शदाता समूह (टीएजी) ने इसकी सिफारिश की थी। उसने 26 अक्टूबर को टीके को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध करने के लिहाज से अंतिम ‘जोखिम-लाभ मूल्यांकन’ करने के लिए कंपनी से अतिरिक्त स्पष्टीकरण मांगे थे।

इस बीच भारत बायोटेक ने कहा कि केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) ने कोवैक्सीन की उपयोग अवधि (शेल्फ लाइफ) को निर्माण की तारीख से 12 महीने तक बढ़ाने को मंजूरी दे दी है।

कंपनी के एक प्रवक्ता ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि भारत बायोटेक को शुरुआत में कोवैक्सीन की बिक्री और वितरण के लिए छह महीने की उपयोग अवधि की अनुमति दी गई थी, जिसे बाद में बढ़ाकर नौ महीने कर दिया गया था।

कोवैक्सीन को लाइसेंस देने के लिए डब्ल्यूएचओ का आभार जताते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा कि यह उपलब्धि ‘‘मोदी जी के संकल्प और सक्षम नेतृत्व की बानगी है, यह लोगों के विश्वास की कहानी है और यह आत्मनिर्भर भारत की दिवाली है।’’

डब्ल्यूएचओ ने ट्वीट किया, ‘‘डब्ल्यूएचओ ने कोवैक्सीन (भारत बायोटेक द्वारा विकसित) टीके को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किया है। इस तरह कोविड-19 की रोकथाम के लिए डब्ल्यूएचओ द्वारा मान्यता प्राप्त टीकों की संख्या में इजाफा हुआ है।’’

डब्ल्यूएचओ ने कहा कि उसके द्वारा बनाया गया टीएजी, जिसमें दुनियाभर के नियामक विशेषज्ञ हैं, पूरी तरह से आश्वस्त है कि कोवैक्सीन कोविड-19 के खिलाफ रक्षा करने संबंधी उसके मानकों पर खरी उतरती है और इस टीके के लाभ इसके जोखिमों से कहीं अधिक है अत: इसका उपयोग किया जा सकता है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने एक अन्य ट्वीट में कहा कि एजेंसी के ‘स्ट्रेटेजिक एडवाइजरी ग्रुप ऑफ एक्सपर्ट्स ऑन इम्युनाइजेशन (एसएजीई) ने भी कोवैक्सीन की समीक्षा की और दो खुराक में इस टीके के इस्तेमाल की अनुशंसा की है। इसे 18 वर्ष और अधिक आयु के सभी लोगों को चार हफ्ते के अंतराल पर दिया जा सकता है।

हालांकि डब्ल्यूएचओ की ओर से एक ट्वीट में कहा गया, ‘‘कोवैक्सीन से गर्भवती महिलाओं के टीकाकरण के जो आंकड़े उपलब्ध हैं वे गर्भावस्था में टीके के प्रभावी या सुरक्षित होने के लिहाज से अपर्याप्त हैं। गर्भवती महिलाओं में टीके के अध्ययन की योजना है।’’

डब्ल्यूएचओ दक्षिण पूर्व एशिया की क्षेत्रीय निदेशक डॉ पूनम खेत्रपाल सिंह ने ट्वीट किया, ‘‘भारत को उसके स्वदेश विकसित कोविड-19 रोधी टीके कोवैक्सीन को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किये जाने के लिए बधाई।’’

भारत बायोटेक ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा उसके कोविड-रोधी कोवैक्सीन टीके को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किया जाना स्वदेश विकसित टीके तक व्यापक वैश्विक पहुंच सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।

कंपनी ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (यूनीसेफ), पैन अमेरिकन हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (पाहो) और गावी कोवैक्स सुविधा भी दुनियाभर में देशों को वितरण के लिए कोवैक्सीन टीके खरीद सकेंगे।

भारत बायोटेक के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक कृष्णा ऐल्ला ने कहा, ‘‘डब्ल्यूएचओ द्वारा मंजूरी भारत के व्यापक तौर पर दिये जाने वाले, सुरक्षित और प्रभावी कोवैक्सीन टीके तक वैश्विक पहुंच सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।’’

भारत बायोटेक की संयुक्त प्रबंध निदेशक सुचित्रा एल्ला ने कहा, ‘‘कोवैक्सीन के लिए डब्ल्यूएचओ की मंजूरी भारत बायोटेक में काम करने वाले सभी लोगों और हमारे साझेदारों के अत्यधिक प्रयासों को समर्थन है। यह हमारे लिए वैश्विक स्तर पर सार्थक प्रभाव पैदा करने के लिहाज से एक अवसर भी है।’’

इसमें बताया गया कि कोवैक्सीन, दोनों खुराक लेने के बाद किसी भी गंभीरता वाले कोरोना वायरस संक्रमण के खिलाफ 78 फीसदी प्रभावी पाई गई है। यह कम और मध्यम आय वाले देशों के लिए अत्यंत ही सुलभ है क्योंकि इसकी भंडारण जरूरतें काफी आसान हैं।

डब्ल्यूएचओ की घोषणा से पहले एक सूत्र ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया था, ‘‘डब्ल्यूएचओ के तकनीकी परामर्शदाता समूह ने कोवैक्सीन को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध का दर्जा देने की सिफारिश की है।’’

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल में जी20 शिखर सम्मेलन में डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक डॉ टेड्रोस अधानोम गेब्रेयेसस से मुलाकात की थी।

डब्ल्यूएचओ का तकनीकी परामर्शदाता समूह एक स्वतंत्र सलाहकार समूह है जो डब्ल्यूएचओ को यह सिफारिश करता है कि क्या किसी कोविड-19 रोधी टीके को ईयूएल प्रक्रिया के तहत आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किया जा सकता है या नहीं।

कोवैक्सीन ने लक्षण वाले कोविड-19 रोग के खिलाफ 77.8 प्रतिशत प्रभाव दिखाया है और वायरस के नये डेल्टा स्वरूप के खिलाफ 65.2 प्रतिशत सुरक्षा दर्शाई है।

कंपनी ने जून में कहा था कि उसने तीसरे चरण के परीक्षणों से कोवैक्सीन के प्रभाव का अंतिम विश्लेषण समाप्त किया है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

विश्वFrance: क्रिसमस इवेंट के दौरान ग्वाडेलोप में हादसा, भीड़ पर चढ़ी कार; 10 की मौत

कारोबारPetrol, Diesel Price Today: कच्चे तेल के दामों में उतार-चढ़ाव, जानें ईंधन पर इसका क्या असर; प्राइस लिस्ट यहां

भारतIndigo Crisis: इंडिगो की उड़ानें रद्द होने के बीच रेलवे का बड़ा फैसला, यात्रियों के लिए 37 ट्रेनों में 116 कोच जोड़े गए

भारतPutin Visit India: भारत का दौरा पूरा कर रूस लौटे पुतिन, जानें दो दिवसीय दौरे में क्या कुछ रहा खास

पर्सनल फाइनेंसLIC New Schemes: LIC ने शुरू की 2 नई योजनाएं, पूरे परिवार के लिए मिलेगी ये सुविधा, यहां करें चेक

भारत अधिक खबरें

भारतशशि थरूर को व्लादिमीर पुतिन के लिए राष्ट्रपति के भोज में न्योता, राहुल गांधी और खड़गे को नहीं

भारतIndiGo Crisis: सरकार ने हाई-लेवल जांच के आदेश दिए, DGCA के FDTL ऑर्डर तुरंत प्रभाव से रोके गए

भारतबिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र हुआ अनिश्चितकाल तक के लिए स्थगित, पक्ष और विपक्ष के बीच देखने को मिली हल्की नोकझोंक

भारतBihar: तेजप्रताप यादव ने पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ कुमार दास के खिलाफ दर्ज कराई एफआईआर

भारतबिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का नाम हुआ लंदन के वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज, संस्थान ने दी बधाई