कोलकाता, 28 जनवरी पश्चिम बंगाल के मंत्री तापस रॉय यहां विक्टोरिया मेमोरियल पर नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती मनाने के लिए आयोजित एक कार्यक्रम में ‘जय श्री राम’ का नारा लगाये जाने की घटना पर जब बृहस्पतिवार को राज्य विधानसभा में बोल रहे थे, तभी उनकी कुछ टिप्पणियों को लेकर वाम दलों और कांग्रेस के सदस्य अध्यक्ष के आसन के करीब पहुंच गये।
विधानसभा अध्यक्ष बिमान बनर्जी ने आदेश दिया कि वाम दलों और कांग्रेस के कुछ सदस्यों के खिलाफ रॉय द्वारा इस्तेमाल किये गये शब्द सदन की कार्यवाही की रिकार्ड में दर्ज नहीं नहीं किये जाएंगे।
गौरतलब है कि कुछ दिनों पहले नेताजी की 125 वीं जयंती मनाने के लिए विक्टोरिया मेमोरियल पर आयोजित एक सरकारी कार्यक्रम के दौरान वहां उपस्थित जन समूह में से कुछ लोगों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में ‘जय श्री राम’ का नारा लगाया था, जिसके चलते मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कार्यक्रम को संबोधित करने से इनकार कर दिया था।
सदन में रॉय के साथ वाम दलों एवं कांग्रेस विधायकों की बहस भी हुई।
माकपा के सुजन चक्रवर्ती और कांग्रेस के असित मित्रा के नेतृत्व में प्रदर्शनकारी विधायक विधानसभा अध्यक्ष के अनुरोध पर अपनी-अपनी सीटों पर वापस गये।
मंत्री पार्था चटर्जी ने सदन को इस बात से अवगत कराया कि मुख्यमंत्री को विक्टोरिया मेमोरियल कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया था, लेकिन कुछ लोगों ने उनका अपमान किया, जिन्होंने नारेबाजी की थी।
उन्होंने कहा कि यह घटना प्रधानमंत्री की मौजूदगी में हुई थी और सदन के सभी सदस्यों को इसकी निंदा करनी चाहिए।
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि ममता बनर्जी सदन की नेता हैं और इस घटना ने सभी सदस्यों को आहत किया है।
कांग्रेस ने बनर्जी का समर्थन करते हुए कहा था कि इस तरह से नारेबाजी करना मुख्यमंत्री का अपमान है, जबकि माकपा ने इस घटना को राज्य के लिए अपमानजनक करार दिया था।
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