नई दिल्ली: भारतीय सेना की मैकेनाइज्ड इंफ्रेंट्री में हाल में स्वॉर्म ड्रोन शामिल किए गए हैं। इस बात की जानकारी सेना ने खुद ही दी है। स्वॉर्म ड्रोन्स को भारतीय सेना की मैकेनाइज्ड इंफ्रेंट्री में शामिल करने से सेना की ताकत में इजाफा होगा। स्वॉर्म ड्रोन्स खास तकनीक से लैस होते हैं और झुंड में हमला करने के लिए जाने जाते हैं।
इसकी जानकारी देते हुए भारतीय सेना ने ट्वीट किया, "स्वार्म ड्रोन्स को मैकेनाइज्ड फोर्सेस में शामिल किया जा रहा है, जो शानदार और विघटनकारी तकनीकों से लैस हैं। भारतीय सेना को भविष्य की सुरक्षा चुनौतियों का सामना करने में यह ड्रोन एक बढ़त प्रदान करेगा।"
क्या है स्वार्म ड्रोन की खासियत
विशेष तकनीक से लैस स्वार्म ड्रोन की खासियत है कि यह झुंड में एक साथ उड़ान भरकर अपने लक्ष्य को भेद सकते हैं। स्वॉर्म ड्रोन एक सिस्टम है जिसमें एक साथ सैकड़ों ड्रोन उड़ान भरते हैं। कंट्रोल स्टेशन से नियंत्रित किए जाने वाले ये ड्रोन अलग-अलग लक्ष्यों पर निशाना लगा सकते हैं। यही खूबी इन्हें खास और खतरनाक बना देती है। बीती 29 जनवरी को नई दिल्ली में बीटिंग रिट्रीट समारोह के दौरान 1,000 ड्रोन्स ने एक साथ आसमान में उड़ान भरी थी जिसे देखकर हर कोई हैरान रह गया था।
भारतीय सेना ने रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) और रक्षा मंत्रालय के सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रमों के साथ मिलकर प्रौद्योगिकी से जुड़ी पहलों की एक लंबी श्रृंखला शुरू की है। ऐसी ही एक परियोजना है आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस ऑफेंसिव ड्रोन ऑपरेशंस, जिसे एक भारतीय स्टार्ट-अप के साथ मिलकर चलाया जा रहा है। इस परियोजना का उद्देश्य देश को हथियारों के लिए अपने प्लेटफॉर्म तैयार करने में आत्मनिर्भर बनाना है।
स्वॉर्म ड्रोन के जरिए निगरानी रखी जा सकती है साथ ही यह दुश्मन पर हमला भी किया जा सकता है। इन्हें स्मार्ट ड्रोन भी कहा जाता है। ये ड्रोन आपस में भी तकनीक की मदद से आपस में भी बात कर सकते हैं। ये आपस में अपना-अपना टास्क भी बांट लेते हैं। जिस जगह सैनिकों की तैनाती नहीं हो सकती ये उन जगहों की भी निगरानी कर सकते हैं। इन ड्रोन्स को कंट्रोल रूम से नियंत्रित किया जाता है इसलिए सैनिकों को खोने का खतरा भी नहीं रहेगा।