हैदराबादः स्थानीय अदालत द्वारा हिंदी एसएससी पेपर लीक मामले में सशर्त जमानद दिए जाने के बाद तेलंगाना भाजपा अध्यक्ष बंदी संजय कुमार शुक्रवार करीमनगर जेल से रिहा हो गए। हनमकोंडा जिले के प्रधान न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत ने बंदी संजय को 20 हजार रुपये के निजी मुचलके और दो जमानदारों की शर्त पर जमानत दी। अदालत ने आदेश दिया कि तेलंगाना प्रदेश भाजपा अध्यक्ष अदालत की अनुमति के बिना देश नहीं छोड़ेंगे न ही सबूतों से छेड़छाड़ करेंगे और जांच में सहयोग करेंगे।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बंदी को तेलंगाना पुलिस ने मंगलवार और बुधवार की दरम्यानी रात करीमनगर में उनके आवास से हिरासत में लिया था। बंदी के गिरफ्तार किए जाने के बाद पार्टी नेताओं ने राज्यव्यापी विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी।
एसएससी का एक प्रश्नपत्र एक ‘इंस्टेंट मैसेजिंग ऐप’ के विभिन्न समूहों पर प्रसारित होने के मामले में गिरफ्तार संजय कुमार और तीन अन्य को बुधवार को हनमकोंडा की स्थानीय अदालत ने 19 अप्रैल तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया था और उन्हें करीमनगर की जले में रखा था।
संजय कुमार ने जमानत के लिए अर्जी दाखिल की थी जिसे अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद बृहस्पतिवार रात को मंजूर कर लिया। बंदी संजय को 20,000 रुपये देने पर जमानत दे दी गई है। वहीं वारंगल पुलिस ने जमानत का विरोध करते हुए कहा कि आरोपी सबूतों से छेड़छाड़ कर सकते हैं और क्योंकि परीक्षा की प्रक्रिया चल रही है वे इस प्रक्रिया को बधित कर सकते हैं। पुलिस ने अदालत में अर्जी देकर मामले में आगे की जांच के लिए संजय कुमार और तीन अन्य आरोपियों की तीन दिन की हिरासत मांगी थी। हालांकि, अदालत ने पुलिस की अर्जी पर सुनवाई सोमवार तक के लिए स्थगित कर दी।