दिल्ली में शनिवार को विधानसभा चुनाव के लिए 61.46 फीसदी मतदान हुआ। यह 2015 में हुए चुनाव के 67.47 फीसदी मत प्रतिशत से कम है। एग्जिट पोल की मानें तो विकास के मुद्दे पर चुनाव लड़ने वाली आप को आसान जीत मिलती दिख रही है।
एग्जिट पोल्स में जबरदस्त बहुमत आने की बात सुनकर गदगद आम आदमी पार्टी ने दिल्ली बीजेपी चीफ मनोज तिवारी के जल्द प्रदेश अध्यक्ष पद से एग्जिट होने की ही भविष्यवाणी कर दी है।
आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने तो भविष्यवाणी की है कि जल्द ही दिल्ली बीजेपी के चीफ पद से मनोज तिवारी की छुट्टी होने वाली है। उन्होंने कहा, 'एग्जिट पोल के 2 अर्थ हैं। एक यह कि दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए एग्जिट पोल और दूसरा मनोज तिवारी के लिए एग्जिट पोल। वह जल्द ही दिल्ली बीजेपी चीफ के पद से विदा होंगे और वह खुद भी इसे अच्छी तरह से जानते हैं।'
वहीं, दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष मनोज तिवारी ने दिल्ली विधानसभा चुनाव-2020 के लिए वोटिंग के बाद आए तमाम एग्जिट पोल पर प्रतिक्रिया दी है। दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष मनोज तिवारी ने कहा है कि ये सभी एग्जिट पोल फेल होंगे। उन्होंने यह भी कहा है कि उनका ट्वीट संभालकर रखिएगा। मनोज तिवारी ने ट्वीट किया, ये सभी एग्जिट पोल होंगे फेल। मेरी ये ट्वीट सम्भाल के रखिएगा। भाजपा दिल्ली में 48 सीट ले कर सरकार बनाएगी। ...कृपया EVM को दोष देने का अभी से बहाना ना ढूँढे।
जानें Delhi Election 2020 Exit Polls के हालएबीपी न्यूज-सी वोटर के एग्जिट पोल के मुताबिक, दिल्ली में आम आदमी पार्टी को 49 से 63 , बीजेपी को 05 से 19 और कांग्रेस को जीरो से 4 सीटें मिलने का अनुमान है।
रिपब्लिक टीवी- जन की बात एग्जिट पोल के मुताबिक आप को 48 से 61 सीटें, बीजेपी को 9 से 21 सीटें और कांग्रेस को 1 सीटें मिल रही हैं।
सुदर्शन न्यूज के एग्जिट पोल के मुताबिक, दिल्ली में आम आदमी पार्टी को 42, बीजेपी को 26 और कांग्रेस को 2 सीटें मिलने का अनुमान है।
टीवी-9 भारतवर्ष- सिसरो के एग्जिट पोल के मुताबिक आम आदमी पार्टी को 54 सीटें, बीजेपी को 15 और कांग्रेस को 1 सीट मिल रही है।
टाइम्स नाउ - IPSOS एग्जिट पोल के मुताबिक आम आदमी पार्टी को 44 , बीजेपी को 26 और कांग्रेस को 0 भी सीट।
दिल्ली विधानसभा चुनाव में मुख्य तौर पर तीन पार्टियां- आम आदमी पार्टी (आप), भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और कांग्रेस मैदान में हैं। अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में 'आप' ने 2015 में 70 में से 67 सीटों पर जीत हासिल की थी। वहीं, बीजेपी के खाते में तीन सीटें आई थी जबकि कांग्रेस अपना खाता भी नहीं खोल सकी थी।