पटना: ओडिशा के बालासोर में हुए रेल हादसे पर बिहार में सियासत शुरू हो गई है। यूपीए की सरकार में रेल मंत्री रहे लालू प्रसाद यादव ने भी इस हादसे पर दुख जताया है और कहा है कि रेलवे की लापरवाही के कारण यह हादसा हुआ है। इसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो।
उन्होंने कहा कि कोरोमंडल एक्सप्रेस बहुत ही फास्ट ट्रेन है और उस ट्रेन से उन्होंने भी सफर किया है। रेलवे की लापरवाही के कारण इतनी बड़ी संख्या में लोगों की मौत हो गई है। लालू ने दावा किया है कि करीब 800 लोगों की मौत इस हादसे में हुई है, जबकि हजारों लोग घायल हुए हैं। इसकी उच्चस्तरीय जांच कराई जाए और जो लोग भी दोषी पाए जाएं उनके खिलाफ सरकार सख्त कार्रवाई करे।
इसके साथ ही उन्होंने मृतकों के आश्रृतों को 10-10 लाख रुपए और घायलों को 5-5 लाख रुपए मुआवजा देने की मांग केंद्र सरकार से की है। इससे पहले ट्रेन हादसे के बाद राजद ने भी मोदी सरकार पर निशाना साधा। राजद ने अपने ऑफिशियल ट्विटर अकाउंट से ट्वीट करते हुए सवाल खड़े किए हैं और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से इस्तीफे की मांग की है।
राजद ने ट्वीट कर लिखा है कि ‘कवच’ में भी कांड हो गया? मोदी सरकार के लिए बस ‘वंदे भारत एक्सप्रेस’ ट्रेनों में ही इंसान चलते हैं! अगर रेल मंत्री में कुछ नैतिकता और आत्मग्लानि हो तो इतने परिवारों के बर्बाद होने पर तुरंत इस्तीफा दें! इधर, नीतीश सरकार में जल संसाधन मंत्री संजय झा ने पुरानी यादों का जिक्र छेड़ कर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से इशारों-इशारों में इस्तीफा मांग लिया है।
उन्होंने ट्वीट कर कहा कि बालासोर (ओडिशा) में हुए भयावह ट्रेन हादसे से मन व्यथित है। यह दुर्घटना रेलवे की ढांचागत खामियों और यात्रियों की सुरक्षा में चूक को भी उजागर करती है। अगस्त 1999 में गैसल ट्रेन हादसे की नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए तत्कालीन रेल मंत्री, हमारे नेता नीतीश कुमार ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था। तब उन्होंने क्या कहा था, सुनिए।