Jharkhand Minister Secretary ED: झारखंड में कांग्रेस के दिग्गज नेता और ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम बड़ी मुसीबत में फंसते दिख रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक, ईडी अब मंत्री आलमगीर आलम के अलावा उनके बेटे तनवीर आलम को भी गिरफ्तारी कर सकती है। ईडी के अधिकारी आलमगीर आलम की गिरफ्तारी के पहले आवश्यक पुख्ता साक्ष्य एकत्रित करने की कोशिश में लगे हैं। इस बीच मंत्री के पीएस संजीव लाल और उसके सहायक जहांगीर आलम के ठिकानों पर चली 16 घंटे से अधिक की छापेमारी के बाद ईडी ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया है। उनके पास से ईडी को 45 करोड़ से की अधिक की राशि बरामद हुई है। ईडी ने गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया और दोनों को रिमांड पर मांगा। इसके बाद कोर्ट ने दोनों को 6 दिन की रिमांड पर ईडी को सौंप दिया।
मंत्री के पीए के घर से छापेमारी में ईडी ने ट्रांसफर-पोस्टिंग के पेपर भी बरामद किया था। दोनों आरोपियों को कोर्ट में पेश करने से पहले तीन सदस्यीय मेडिकल टीम जांच करने के लिए पहुंची थी। ईडी ने संजीव लाल के करीबी बिल्डर मुन्ना सिंह के घर से 2.93 करोड़ रुपये नकद जब्त किया था। ईडी की छापेमारी में सहायक जहांगीर के आवास से कई चौंकाने वाले पत्र भी मिले हैं।
इनमें झारखंड प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजेश ठाकुर के नाम से कई बीडीओ सहित अन्य अधिकारियों की ट्रांसफर-पोस्टिंग से संबंधित पैरवी पत्र हैं। हालांकि राजेश ठाकुर अपने ऊपर लगे इन आरोपों को खारिज कर रहे हैं। उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा कि उनके नाम से लिखा पैरवी पत्र बिल्कुल निराधार है। इस बीच ईडी के अधिकारियों ने मंगलवार को फिर रांची में फिर छापा मारा।
यह छापेमारी राजू सिंह के श्यामली गली डोरंडा में स्थित आवास, सिंहमोड़, आईटीआई बस स्टैंड, रातु में हुई है। ईडी ने आज भी 1 करोड़ से अधिक की नकद राशि बरामद की है। उल्लेखनीय है कि ईडी ने सोमवार को बीरेंद्र राम से जुड़े मामले में रांची के अलग अलग 9 ठिकानों पर छापा मारा था। जहां से उन्हें 45 करोड़ से अधिक की राशि बरामद हुई थी।
यह छापेमारी मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल और उनके नौकर जहांगीर आलम, मुन्ना सिंह समेत कई लोगों के ठिकानों पर हुई थी। जहांगीर आलम हरमू रोड के सर सैयद रेसिडेंसी के ब्लॉक-बी के फ्लैट नंबर-1ए में रहता है। ऐसे में सवाल यह उठने लगा है कि 15 हजार रुपए मासिक कमाने वाला व्यक्ति ऐसे आलीशान फ्लैट को कैसे खरीद सकता है? ईडी अब सभी पहलुओं पर जांच के बाद मंत्री पर शिकंजा कस सकती है।