लाइव न्यूज़ :

मोदी सरकार का फैसला, Lockdown के बीच नहीं होगी 'सस्पेंशन ऑर्डर' समेत इन कार्यों की समीक्षा

By भाषा | Updated: March 31, 2020 15:51 IST

Open in App

सरकार लॉकडाउन की अवधि में निर्धारित अवधि से पहले निलंबन आदेश और स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति के नोटिस स्वीकार करने जैसे विविध कार्यों की समीक्षा नहीं करेगी। कार्मिक मंत्रालय ने एक आदेश में यह बात कही है। 

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना वायरस के फैलाव को रोकने के लिए पिछले सप्ताह देशव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की थी। कोरोना वायरस के कारण देश में अब तक 32 लोगों की मौत हो चुकी है और 1000 से अधिक लोग इससे संक्रमित हुए हैं। 

कार्मिक मंत्रालय ने कहा है कि कोविड-19 के फैलने के मद्देनजर देशव्यापी लॉकडाउन से उत्पन्न स्थिति पर विचार करते हुए केंद्रीय लोक सेवा (वर्गीकरण अपील एवं नियंत्रण) नियम 1965 और केंद्रीय लोक सेवा (पेंशन) नियम 1972 में निर्दिष्ट समयसीमा का पालन करना संभव नहीं है। 

मंत्रालय ने कहा कि उदारहण के लिए यदि लॉकडाउन शुरू होने पर किसी प्रक्रिया या कार्य को पूरा करने की निर्धारित तारीख 20 दिनों के बाद आती है, तो नियत तारीख लॉकडाउन के दौरान स्थगित रहेगी और लॉकडाउन हटाए जाने के बाद 20 दिन काम पूरा करने के लिए उपलब्ध रहेंगे। 

इसमें कहा गया है कि हालांकि लॉकडाउन हटाए जाने के बाद अगर काम पूरा करने में 15 दिन से कम समय लगने वाला हो तब प्रक्रिया को 15 दिन के भीतर पूरा करने की अनुमति दी जा सकती है। 

मंत्रालय ने कहा कि किसी आरोपी अधिकारी द्वारा आरोपपत्र पर बचाव में लिखित बयान प्रस्तुत करने और अनुशासनात्मक कार्यवाही शुरू करने के लिए अनुशासनात्मक प्राधिकरण द्वारा निर्णय लेने के बाद चार्जशीट जारी करने के वास्ते अवधि समाप्त होने से पहले निलंबन आदेश की समीक्षा के लिए समयसीमा निर्धारित की गई है। 

जांच प्राधिकार द्वारा जांच पूरी करने, रिपोर्ट पेश करने और स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति के नोटिस की स्वीकृति एवं अन्य कार्यों के लिए समयसीमा तय है। इसमें कहा गया है कि इसके अलावा, सीधी भर्ती, प्रतिनियुक्ति आदि के लिए आवेदन प्राप्त करने के लिए समयसीमा निर्धारित की गई है। 

मंत्रालय ने सभी सरकारी विभागों को जारी आदेश में कहा कि जहां सीधी भर्ती, प्रतिनियुक्ति आदि के लिए आवेदन प्राप्त करने की अंतिम तिथि लॉकडाउन की अवधि के दौरान आती है, ऐसी स्थिति में अंतिम तिथि को लॉकडाउन के दिनों की संख्या के आधार पर बढ़ाया जाएगा। 

इसमें कहा गया है कि इसी प्रकार सीसीएस आचार नियम 1964 में निर्धारित सीमा को विभिन्न प्रयोजनों के लिए लॉकडाउन के दिनों की संख्या के आधार पर बढ़ाया जाएगा। 

टॅग्स :कोरोना वायरसकोरोना वायरस लॉकडाउनसीओवीआईडी-19 इंडियाइंडियामोदीमोदी सरकार
Open in App

संबंधित खबरें

भारत‘पहलगाम से क्रोकस सिटी हॉल तक’: PM मोदी और पुतिन ने मिलकर आतंकवाद, व्यापार और भारत-रूस दोस्ती पर बात की

भारतPutin India Visit: एयरपोर्ट पर पीएम मोदी ने गले लगाकर किया रूसी राष्ट्रपति पुतिन का स्वागत, एक ही कार में हुए रवाना, देखें तस्वीरें

भारतPutin India Visit: पुतिन ने राजघाट पर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी, देखें वीडियो

भारतIndiGo Crisis: इंडिगो के उड़ानों के रद्द होने पर राहुल गांधी ने किया रिएक्ट, बोले- "सरकार के एकाधिकार मॉडल का नतीजा"

भारतPutin Visit India: राष्ट्रपति पुतिन के भारत दौरे का दूसरा दिन, राजघाट पर देंगे श्रद्धांजलि; जानें क्या है शेड्यूल

भारत अधिक खबरें

भारतशशि थरूर को व्लादिमीर पुतिन के लिए राष्ट्रपति के भोज में न्योता, राहुल गांधी और खड़गे को नहीं

भारतIndiGo Crisis: सरकार ने हाई-लेवल जांच के आदेश दिए, DGCA के FDTL ऑर्डर तुरंत प्रभाव से रोके गए

भारतबिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र हुआ अनिश्चितकाल तक के लिए स्थगित, पक्ष और विपक्ष के बीच देखने को मिली हल्की नोकझोंक

भारतBihar: तेजप्रताप यादव ने पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ कुमार दास के खिलाफ दर्ज कराई एफआईआर

भारतबिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का नाम हुआ लंदन के वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज, संस्थान ने दी बधाई