नयी दिल्ली, 10 दिसंबर सरकार ने इस साल जनवरी-नवंबर की अवधि के दौरान ‘मूल देश’ की घोषणा के उल्लंघन के मामले में ई-कॉमर्स कंपनियों को 200 नोटिस जारी किए हैं। शुक्रवार को संसद को यह जानकारी दी गई।
उपभोक्ता मामलों के राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने राज्यसभा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में कहा कि इस वर्ष के दौरान राज्य सरकारों द्वारा मूल देश सहित जरूरी घोषणा संबंधित उल्लंघन मामलों के लिए लगभग 2,116 मामले दर्ज किए गए हैं।
मंत्री ने कहा, ‘‘ई-कॉमर्स कंपनियों द्वारा मूल देश की घोषणा के उल्लंघन के लिए, एक जनवरी से 30 नवंबर, 2021 की अवधि के दौरान, उपभोक्ता मामलों के विभाग के कानूनी मेट्रोलॉजी डिवीजन द्वारा 200 नोटिस जारी किए गए हैं।’’
उन्होंने कहा कि ई-कॉमर्स कंपनियों से कंपाउंडिंग फीस के रूप में करीब 38,70,000 रुपये वसूल किए गए हैं।
मंत्री ने उच्च सदन को सूचित किया कि सरकार ने लीगल मेट्रोलॉजी (पैकेज्ड कमोडिटीज) नियम 2011 में संशोधन किया है, जिसमें नियम 6(1)(एए) के अनुसार आयातित उत्पादों के मामले में पैक पर मूल या निर्माण या असेंबली वाले देश का नाम उल्लेख किया जाना चाहिए।
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