Hathras Stampede Accident: उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में एक दर्दनाक घटना में 100 से ज्यादा लोगों की मौत ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। क्षेत्र में धार्मिक सत्संग के दौरान मची भगदड़ में 121 लोगों की मौत हो चुकी है वहीं, कई लोग घायल है। मंगलवार शाम हुए हादसे के बाद बुधवार को कई नए-नए खुलासे हो रहे हैं। धार्मिक बाबा के सत्संग में आए लोगों के साथ भयावह घटना के बाद बाबा पर कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं।
इस बीच, भोले बाबा के नाम से प्रसिद्ध उपदेशक नारायण साकार विश्व हरि के तार राजस्थान पेपर लीक केस से जुड़ते दिख रहे हैं। दरअसल, न्यूज एजेंसी आईएएनएस द्वारा शेयर किए गए वीडियो में दावा किया गया है कि नारायण साकार का संबंध पेपर लीक मामले से भी है।
मामले के सामने आने के बाद एसओजी की टीम इसकी जांच कर रही है। जानकारी के अनुसार, भोले बाबा ने हर्षवर्द्धन मीना के घर पर विशेष सभाएं कीं, जो पहले ही पेपर लीक मामले में गिरफ्तार हैं। पेपर लीक की सक्रियता से जांच कर रही एसओजी अब हर्षवर्द्धन की संपत्ति सील करने और हिरासत में लेने के साथ ही बाबा भोले की तलाश में जुट गई है।स्थानीय लोगों का दावा है कि इन सभाओं में हजारों लोग शामिल हुए, जहां कड़ी सुरक्षा थी।
स्थानीय लोगों का कहना है, "यहां सत्संग होता था, सड़क जाम हो जाती थी, इतने सारे लोग यहां आते थे, उनके सेवादार भी उनके साथ आते थे और सुरक्षा के लिए यहां बिल्कुल भी पुलिस नहीं थी।"
उपदेशक नारायण साकार की सफाई
मामले में आरोपी बताए जा रहे उपदेशक नारायण साकार ने हादसे के एक दिन बाद बुधवार को इस दुखद घटना के लिए असामाजिक तत्वों को जिम्मेदार ठहराया। एक बयान जारी करते हुए उन्होंने कहा, "भगदड़ कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा मचाई गई थी, मैंने वरिष्ठ अधिवक्ता डॉ. ए.पी. सिंह को इस पर आगे की कानूनी कार्रवाई करने के लिए अधिकृत किया है।" उन्होंने कहा: "मृतकों के परिवारों के प्रति हमारी गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने के लिए प्रभु/परमात्मा से प्रार्थना करते हैं।"
इस बीच, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हाथरस भगदड़ की घटना में घायलों और मृतकों के परिजनों से मिलने के बाद एक सेवानिवृत्त उच्च न्यायालय के न्यायाधीश की अध्यक्षता में न्यायिक जांच शुरू की जाएगी और इस चूक के लिए जिम्मेदार लोगों को दंडित करने का वादा किया।
क्या है पूरा मामला?
दरअसल, स्थानीय उपदेशक नारायण साकार विश्व हरि द्वारा 2 जुलाई को एक सत्संग का आयोजन किया गया था, जहां उम्मीद से कहीं अधिक हजारों लोग कार्यक्रम में पहुंचे, कई लोग मिट्टी इकट्ठा करने की कोशिश में असमान सतह पर गिर गए, जिस पर उपदेशक कार्यक्रम स्थल से जाने से पहले चले गए थे; और स्वास्थ्य सुविधाएं मृतकों और घायलों की बढ़ती संख्या से निपटने के लिए संघर्ष कर रही हैं।