कोरोना के बीच जी-20 के डिजिटल सम्मेलन के फीका रहने के आसार
By भाषा | Updated: November 19, 2020 17:26 IST2020-11-19T17:26:03+5:302020-11-19T17:26:03+5:30

कोरोना के बीच जी-20 के डिजिटल सम्मेलन के फीका रहने के आसार
दुबई, 19 नवंबर (एपी) कोरोना वायरस महामारी के साए में जी-20 देशों के नेताओं का शिखर सम्मेलन इसी सप्ताह सऊदी अरब में होने वाला है और इसके अब तक की पारंपरिक बैठकों से हटकर होने के पूरे आसार हैं।
यह बैठक डिजिटल होगी और इसमें दुनिया के धनी और विकासशील देशों के नेताओं का जमावड़ा नहीं होगा। इसके अलावा विभिन्न देशों के शासकों, राष्ट्रपतियों और प्रधानमंत्रियों के बीच बंद कमरों में होने वाली बैठकें भी नहीं होंगी। नेताओं के लिए यादगार तस्वीरें खिंचाने का अवसर भी नहीं होगा। ।
इसके अलावा सऊदी मेजबानों को दुनिया की मीडिया को चकाचौंध करने का अवसर भी नहीं मिलेगा।
पिछले कई दशकों की सबसे गंभीर महामारी से निपटने के लिए वैश्विक एकीकृत जवाब की भी उम्मीद नहीं है। दवाओं और टीकों के लिए अरबों डॉलर का वादा किया गया है लेकिन जी-20 देशों ने ज्यादातर अपनी अपनी आपूर्ति सुरक्षित करने पर ध्यान केंद्रित रखा है।
मौजूदा महामारी ने जी-20 को यह साबित करने का एक मौका दिया है कि इस तरह का निकाय संकटों में किस प्रकार अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा दे सकता है। इसके अलावा समूह अपनी कमियों को भी रेखांकित कर सकता है।
जी-20 के सदस्य देश दुनिया के आर्थिक उत्पादन का लगभग 85 प्रतिशत और अंतरराष्ट्रीय व्यापार के तीन-चौथाई का प्रतिनिधित्व करते हैं। इसकी स्थापना 1999 में वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक गवर्नरों के लिए वैश्विक अर्थव्यवस्था पर विचार विमर्श करने के लिए एक तरीके के रूप में की गयी थी।
कोरोना वायरस के कारण जब मार्च में सीमाएं बंद करने के साथ-साथ लॉकडाउन लागू हो रहे थे, सऊदी शाह सलमान ने जी-20 नेताओं की डिजिटल बैठक बुलायी थी।
Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।