नई दिल्ली: पिछले दो सालों में कोरोना महामारी ने पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था को काफी नुकसान पहुंचाया है। खासकर आमलोग इससे काफी प्रभावित हुए हैं। कई लोगों की नौकरी चली गई तो कई लोग बीमारी के इलाज में अपना बहुत कुछ गंवा बैठ। भारत से लेकर अमेरिका तक की स्थिति एक जैसी रही। हालांकि इस महामारी में दुनिया के बड़े कारोबारी और मालामाल हुए हैं। अमेरिका में तो पिछले 10 सालों में बड़े धन्नासेठों की संपत्ति में 100 गुना तक वृद्धि हुई ह जबकि इसके उलट कामगारों की न्यूनतम मजदूरी एक डॉलर भी नहीं बढ़ी।
एलन मस्क से लेकर जेफ बेजोस औ बिल गेट्स हुए मालामाल
टेस्ला के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) एलन मस्क की कुल संपत्ति जहां साल 2012 में दो अरब डॉलर थी वहीं 10 साल बाद ये बढ़कर 266 अरब डॉलर हो गई। इस लिहाज से देखें को एलन मस्क की संपत्ति में 133 गुना की वृद्धि पिछले 10 सालों में हो गई है।
ऐसे ही अमेजन के जेफ बेजोस की संपत्ति में भी 10 गुना की बढ़ोतरी हुई है। साल 2012 में बेजोस की संपत्ति 18 अरब डॉलर थी और साल 2022 तक 180 अरब डॉलर हो गई है। वहीं बिल गेट्स की संपत्ति 2012 में 61 अरब डॉलर थी और इस साल बढ़कर 133 अरब डॉलर हो गई। इसके अलावा बर्कशायर हैथावे के सीईओ वारेन बफेट की कुल संपत्ति भी इस साल बढ़कर 125 अरब डॉलर हो गई है। साल 2012 में यह 44 अरब डॉलर थी।
कामगारों की न्यूनतम मजदूरी 13 साल से नहीं बढ़ी
अमेरिका के इन धन्नासेठों से इतर सामान्य कामगारों की बात करें तो यहां उनकी न्यूनतम मजदूरी पिछले 13 साल में एक डॉलर भी नहीं बढ़ी। अमेरिका में आखिरी बार न्यूनतम वेतन 2009 में बढ़ाया गया थ और इसे 7.25 डॉलर प्रति घंटे किया गया था। महामारी के बीच और आज भी यही दर कायम है। इसके अलावा ब्रिटेन में न्यूनतम मजदूरी 11.33 डॉलर प्रति घंटे तो ऑस्ट्रेलिया में न्यूनतम मेहनताना 20 डॉलर से अधिक प्रति घंटा है।