तस्वीरें: धतूरे के इस्तेमाल से जोड़ों के दर्द, गंजेपन समेत इन 6 रोगों में होता है फायदा

By लोकमत समाचार हिंदी ब्यूरो | Published: August 22, 2018 08:14 AM2018-08-22T08:14:54+5:302018-08-22T08:14:54+5:30

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दर्द से रहत पाने के लिए धतूरे के रस को टिल के तेल में मिलकर गर्म कर लें और दर्द वाली जगह पर इस तेल की मालिश करें।

धतूरे का प्रयोग गंजेपन को दूर करने के लिए फायदेमंद साबित होता है। इसके रस को सिर पर मलने से न केवल डैंड्रफ ख़त्म होती है, बल्कि गंजेपन से भी छुटकारा मिलता है। इसके अलावा सिर पर जुएं होने पर आधा लीटर सरसों के तेल में ढाई सौ ग्राम धतूरे के पत्तों का रस न‍िकालकर लगा लें। इससे जुएं की समस्‍या खत्‍म हो जाएगीं।

बुखार या कफ होने की स्थिति में लगभग 125 -250 मिलीग्राम धतूरे के बीज लेकर इसे जलाकर राख बना लें और इस राख को मरीज को दें। इससे बुखार या कफ गायब हो जाएगा।

नियमित रूप से धतूरे के रस और तिल के तेल की मालिश करने से जोड़ों की समस्या और गठिया जैसी समस्याओं से न केवल काफी हद तक निजात पाई जा सकती है बल्कि इस रोग को पूरी तरह से मिटाया भी जा सकता है

धतूरें के बीज को अकरकरा और लौंग के साथ मिलाकर छोटी-छोटी गुटिका बनाकर सेवन करने से ये यौन शक्ति में इजाफा करता है।

बवासीर के इलाज के तौर पर भी धतूरे का इस्तेमाल किया जाता है। इसके लिए धतूरे के फूल और पत्तों को जलाकर इसके धुएं से बवासीर के मस्सों की सिकाई करने से भी फायदा होता है।