भारतीय रिजर्व बैंक ने कई नियामकीय खामियों के मद्देनजर मुंबई के पंजाब एंड महाराष्ट्र कोआपरेटिव बैंक (पीएमसी) के परिचालन पर छह महीने के लिए कुछ पाबंदियां लगा दी हैं।
गैर निष्पादित आस्तियों (एनपीए) को काफी कम कर दिखाने और अन्य नियामकीय खामियों के मद्देनजर शहरी सहकारी बैंक पर ये अंकुश लगाए हैं। रिजर्व बैंक ने निर्देश दिया है कि इस छह माह की अवधि के दौरान पीएमसी के प्रत्येक ग्राहक के लिए निकासी की सीमा 1,000 रुपये रहेगी। साथ ही इस दौरान बैंक कोई नया ऋण नहीं दे सकेगा। पीएमसी के पास सार्वजनिक जमा 11,000 करोड़ रुपये का है।
इस बीच मुंबई में प्रदर्शन जारी है। लोग रोज हल्ला कर रहे हैं। पीएमसी बैंक के खाताधारक गुरुचरण सिंह तलवार ने कहा कि मैंने पैसे बचाए थे ताकि मुझे अपनी बेटी की शादी के लिए किसी से पैसे मांगने की जरूरत न पड़े। इस साल नवंबर में उसकी शादी तय है। हम अगले 6 महीनों में सिर्फ 1000 रुपये से कैसे मैनेज कर सकते हैं?
उधर, पंजाब और महाराष्ट्र सहकारी बैंक (पीएमसी) के खाताधारक भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा 6 महीने के लिए अपनी गतिविधियों को प्रतिबंधित करने के बाद सायन शाखा के बाहर एकत्र हुए। खाताधारक गुरुचरण सिंह तलवार कहते हैं, "पिछले 20 साल से इस बैंक में मेरा खाता है।"
मुंबई के सहकारी बैंक के बाहर लगी जुटी भीड़, बैंक में जमा धन को लेकर लोग चिंतित
मुंबई के पंजाब एंड महाराष्ट्र कोआपरेटिव बैंक (पीएमसी) पर नियामकीय खामियों की वजह से रिजर्व बैंक द्वारा कुछ पांबदियां लगाए जाने से जमाकर्ता घबराए हुए हैं। यह घटनाक्रम ऐसे समय हुआ है जबकि अर्थव्यवस्था में सुस्ती की वजह से रोजगार का नुकसान हो रहा है और लोगों को कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
डूबे कर्ज यानी एनपीए को कम कर दिखाने और कई अन्य नियामकीय खामियों के मद्देनजर केंद्रीय बैंक ने पीएमसी पर कई तरह की पाबंदियां लगा दी हैं। इन पाबंदियों के तहत बैंक के ग्राहकों के लिए 1,000 रुपये तक की निकासी की सीमा तय की गई है। वहीं बैंक के नया कर्ज देने पर भी रोक लगाई गई है। पूर्वी उपनगर भांडुप स्थित पीएमसी के मुख्यालय के बार जमा सैकड़ों जमाकर्ताओं के मन में अपना पैसा डूबने का डर था। बैंक पर पाबंदियों की खबर के बाद ये लोग मुख्यालय के बाहर जुटे थे।
हालांकि, रिजर्व बैंक ने स्पष्ट किया है कि उसने पीएमसी का लाइसेंस रद्द नहीं किया है। इसके बावजूद लोगों का डर बढ़ रहा है। पीएमसी की शाखाओं पर पहुंचने वाले ग्राहकों में तिपहिया चालक से लेकर छोटे कारोबारी, पेंशनभोगी, गृहणियां और उम्रदराज लोग शामिल थे। बैंक के मुख्यालय के बाहर इस संवाददाता को ऐसा तिपहिया चालक मिला जिसके बैंक में 10,000 रुपये जमा थे। वहीं एक छोटा कारोबारी भी था जिसकी 60,000 रुपये की ईएमआई पीएमसी के खाते के जरिये जा रही है।
एक गृहणी भी वहां थी, जिसका किसी और बैंक में खाता नहीं है। बैंक के मुख्यालय के बाहर ऐसे लोगों की कतार लगी थी जो मात्र एक हजार रुपये निकाल रहे थे। रिजर्व बैंक ने बैंक के ग्राहकों को एक हजार रुपये तक ही निकालने की अनुमति दी है। मुख्यालय से बाहर आई एक बुजुर्ग महिला ने कहा, ‘‘मैंने 1,000 रुपये निकाले हैं।
अब बैंक वाले कह रहे हैं कि छह महीने बाद ही दोबारा पैसे निकाल सकते हैं।’’ आंखों में आंसू लिए हुए इस महिला ने कहा, ‘‘मैं आज हूं कल का क्या भरोसा।’ कई ग्राहक इस बात को लेकर परेशान थे उनका ईएमआई बैंक के खाते से कट रहा है। एक दुकानदार ने कहा,‘‘मेरा 60,000 रुपये का ईएमआई बैंक खाते से कट रहा है। अगर उन्होंने आगे इसकी अनुमति नहीं दी तो मेरा सिबिल स्कोर खराब हो जाएगा।’’ एक तिपहिया चालक ने कहा,‘‘मेरा 10,000 रुपया बैंक में है। नहीं मालूम अब क्या होगा।’’