बिजली विभाग द्वारा की गई कुर्की से दुखी होकर किसान ने की आत्महत्या

By भाषा | Updated: December 31, 2020 21:27 IST2020-12-31T21:27:38+5:302020-12-31T21:27:38+5:30

The farmer commits suicide due to attachment by the electricity department | बिजली विभाग द्वारा की गई कुर्की से दुखी होकर किसान ने की आत्महत्या

बिजली विभाग द्वारा की गई कुर्की से दुखी होकर किसान ने की आत्महत्या

छतरपुर (मप्र), 31 दिसंबर बिजली बिल भुगतान न करने पर विभाग द्वारा की गई कुर्की से दुखी होकर आटा चक्की चलाने वाले 35 वर्षीय एक किसान ने कथित तौर पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। यह घटना मध्यप्रदेश के छतरपुर से 17 किलोमीटर दूर मातगुवां में बुधवार को हुई।

मरने से पहले इस किसान से एक सुसाइड नोट छोड़ा है, जिसमें उसने लिखा है, ‘‘मेरे मरने के बाद मेरा शरीर शासन को दे दें, ताकि मेरा एक-एक अंग बेच कर सरकार अपना कर्जा चुका ले।’’

मृतक के भाई लोकेन्द्र राजपूत ने बृहस्पतिवार को बताया, ‘‘मेरे भाई मुनेंद्र राजपूत ने बुधवार दोपहर करीब एक बजे अपने खेत पर लगे आम के पेड़ पर फांसी का फंदा डालकर आत्महत्या कर ली। बिजली बिल साल भर से ना भरने के कारण बिजली विभाग ने कुर्की वारंट जारी कर सोमवार को उसकी चक्की और मोटरसाइकिल जप्त कर लिया। उन्हें अपमानित किया गया। वह निवेदन करते रहे कि कुछ समय दे दो पर उनकी एक नहीं सुनी गई।’’

उन्होंने कहा ‘‘ कोविड-19 के लिए मार्च में लगे लॉकडाउन एवं इस लॉकडाउन के खुलने के बाद मुनेंद्र को चक्की से पर्याप्त आमदनी नहीं हो रही थी। खरीफ की फसल हुई नहीं थी और गुजारा करने के लिए वह चक्की चलाते थे।’’

लोकेन्द्र ने बताया कि इस साल चक्की बहुत ही कम चलने के बाद भी बिजली विभाग वाले रीडिंग की बजाय साल भर से औसतन बिल दे रहे थे। उन्होंने कहा, ‘‘ज्यादा बिल और फसल ना होने से उनके पास देने के लिए कुछ भी नहीं था।| ऐसे में उन्होंने खेत पर पेड़ से फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।’’

मुनेंद्र राजपूत ने सुसाइड नोट में लिखा है, ‘‘मेरी तीन पुत्री और एक पुत्र है। किसी की उम्र 16 वर्ष से ज्यादा नहीं है। मेरी परिवार से प्रार्थना है कि मेरे मरने के उपरान्त मेरा शरीर शासन के सुपुर्द कर दें, जिससे मेरे शरीर का एक-एक अंग बेच कर शासन का कर्जा चुक सके।’’

इसमें उसने कर्ज ना चुका सकने का कारण भी लिखा है, ‘‘मेरी एक भैंस करंट लगने से मर गई, तीन भैंस चोरी हो गई, आषाढ़ में (खरीफ फसल) खेती में कुछ नहीं मिला, लॉकडाउन में कोई काम नहीं और ना ही चक्की चली। इस कारण हम बिल नहीं दे सके।’’

इसी बीच, मातगुवां पुलिस थाना प्रभारी कमलजीत सिंह ने बताया, ‘‘हमने मामला दर्ज करके विवेचना शुरू कर दी है।’’ उन्होंने कहा कि सुसाइड नोट भी मिला है।

वहीं, बिजावर के समाजवादी पार्टी के विधायक राजेश कुमार शुक्ला ने घटना को दुखद बताते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई करने और पीड़ित परिवार को आर्थिक सहयोग दिये जाने की मांग की है।

इसी बीच, एक आधिकारी विज्ञप्ति के अनुसार छतरपुर के कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने बताया कि ग्राम मातगुवां के निवासी मुनेन्द्र राजपूत के परिजनों को 25,000 रूपए की आर्थिक सहायता दे दी गई है।

इसमें कहा गया है कि मृतक की मां हरबाई के नाम 5 एचपी विद्युत कनेक्शन स्वीकृत है जिस पर 88,508 रूपए का भुगतान 3 वर्षों से लंबित है। बकाया राशि वसूली के लिए अक्टूबर एवं नवम्बर माह में नोटिस जारी किए गए थे।

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Web Title: The farmer commits suicide due to attachment by the electricity department

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