Ram Mandir Pran Pratishtha: अयोध्या में राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम संपन्न हो गया है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैदिक नियमों के अनुसार अनुष्ठान पूरा किया। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा पूरी करने के बाद प्रधानमंत्री ने 11 दिनों का अपना उपवास आखिरकार तोड़ दिया। उन्होंने पुजारी के हाथों पंचामृत लिया और उसका सेवन किया।
पीएम मोदी ने भव्य मंदिर के गर्भगृह में प्राण प्रतिष्ठा समारोह में अनुष्ठान का नेतृत्व किया। यह समारोह गहन भक्ति भावना के वातावरण में आयोजित किया गया। दिन की शुरुआत सुबह की पूजा के साथ हुई और उसके बाद 'मृगशिरा नक्षत्र' में राम लला की प्राण प्रतिष्ठा की गई, जो दोपहर लगभग 12.30 बजे शुरू हुई और दोपहर 1 बजे समाप्त हुई।
समारोह में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित अन्य गणमान्य व्यक्तियों की गरिमामय उपस्थिति देखी गई। समारोह में विभिन्न आदिवासी समुदायों के प्रतिनिधियों सहित सभी क्षेत्रों के लोग भी शामिल हुए।
प्रधानमंत्री मोदी ने पूजा संपन्न करने के बाद राम लला की मूर्ति के सामने झुके, 'साष्टांग दंडवत प्रणाम' किया। समारोह में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मौजूद हैं।
भव्य मंदिर में समारोह के लिए 8,000 से अधिक मेहमानों को आमंत्रित किया गया है। ऐतिहासिक प्राण प्रतिष्ठा समारोह में देश के सभी प्रमुख आध्यात्मिक और धार्मिक संप्रदायों के प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं। समारोह में विभिन्न आदिवासी समुदायों के प्रतिनिधियों सहित सभी क्षेत्रों के लोग भी शामिल हुए।
आम जनता के लिए कब खुलेगा मंदिर?
अयोध्या में राम जन्मभूमि मंदिर 23 जनवरी से आम जनता के लिए खोल दिया जाएगा। भगवान राम लला के 'दर्शन' के लिए प्रतिदिन हजारों भक्तों और तीर्थयात्रियों के भव्य मंदिर में आने की उम्मीद है।
राम मंदिर लाखों भक्तों और हिंदू धर्म के अनुयायियों के लिए बहुत महत्व रखता है। गर्भगृह में 51 इंच ऊंची राम लल्ला की मूर्ति को मैसूर स्थित मूर्तिकार अरुण योगीराज ने तैयार किया है। मूर्ति में भगवान विष्णु के सभी दस अवतारों, भगवान हनुमान जैसे हिंदू देवताओं और अन्य प्रमुख हिंदू धार्मिक प्रतीकों की नक्काशी भी शामिल है।
भव्य श्री राम जन्मभूमि मंदिर पारंपरिक नागर शैली में बनाया गया है। इसकी लंबाई (पूर्व-पश्चिम) 380 फीट है; चौड़ाई 250 फीट और ऊंचाई 161 फीट है; और यह कुल 392 स्तंभों और 44 दरवाजों द्वारा समर्थित है।